लातेहार (झारखंड): झारखंड के पलामू जिले के सतबरवा प्रखंड में मलय नदी की पुलिया पार करते समय वर-वधू को लेकर जा रही एक कार बह गई। हालांकि ग्रामीणों ने कार पर सवार वर-वधू सहित छह लोगों को बचा लिया। पुलिस के अनुसार, खामडीह गांव में मलय नदी का छलका पुलिया पार करते समय शनिवार को पानी के तेज धार में वर -वधू समेत छह लोग कार समेत बह गये। ग्रामीणों ने कड़ी मशक्कत कर आधा किलोमीटर दूर जा चुके कार में सवार वर-वधू समेत छह बारातियों का रेस्क्यू अभियान चलाकर सकुशल निकाल लिया। रेस्क्यू शनिवार को शाम साढे छह से साढे सात बजे तक चला।
पुलिस के एक अधिकारी ने सोमवार को बताया कि लेस्लीगंज थाना क्षेत्र के ग्राम रजहारा के रामलगन सिंह के पुत्र विजय सिंह की शादी लातेहार जिले के मनिका थाना के माईल मटलौंग गांव निवासी खुशबू कुमारी के साथ सतबरवा के एक मंदिर में शनिवार को संपन्न हुई थी।
शाम को दूल्हा अपनी दुल्हन को लेकर कार से अपने गांव लौट रहा था। उस कार में वर-वधू के साथ कुल छह लोग सवार थे। लौटते समय खामडीह-बोहिता मार्ग के बीच मलय नदी के झरीवा छलका पुलिया पार पानी ऊपर से बह रहा था। कार पार करते समय कार पानी के दबाव को नहीं झेल सकी और तेज बहाव में बह गई। ग्रामीणों ने तत्काल लोगों को बचाने की पहल प्रारंभ कर दी। पानी के तेज बहाव में कार आधा किलोमीटर आगे जा चुकी थी। इस दौरान खामडीह और नावाटोली के ग्रामीणों ने 'जुगाड़ तकनीक' से कार को बाहर निकाल लिया और सभी लोगों की जान बच गई।
रेस्क्यू टीम में शामिल ब्लॉक डेवलपमेंट कमिटी के सदस्य राजकुमार सिंह ने बताया कि हमलोगों का एकमात्र उद्देश्य पानी में बहती कार पर सवार लोगों की जान बचाना था। बहते पानी की तेज धार में कार को रोकने का प्रयास किया जाता रहा, लेकिन सफलता आधा किलोमीटर दूर जाने पर नावाटोली में मिली। यहां पर कार को रोक दिया गया और ग्रामीणों के सहयोग से रस्सी लाया गया और फिर कार को रस्सी से निकाल लिया गया।
मौके पर बारी पंचायत के मुखिया रामाशीष सिंह ग्रामीणों के जत्था को मॉनिटरिंग कर लोगों को आवश्यक निर्देश देते देखे गये। सिंह ने बताया कि छलका पुलिया से बह रही कार में छह लोग सवार थे। इनमें नवविवाहित जोड़े के साथ तीन बच्चे और कार का ड्राईवर शामिल था। सभी को कार से सकुशल निकाला गया था। इसके बाद वर-वधू और बच्चे को उनके घर रजहारा भेज दिया गया।
इधर, कार पर सवार दुल्हा विजय सिंह ने ग्रामीणों का आभार जताते हुए कहा कि यहां के ग्रामीणों के कारण हमसब की जान बची है। आज ये नहीं होते तो हमसभी की मौत तय थी। इस घटना के बाद लोग ग्रामीणों के साहस की चर्चा चारों ओर है और लोग गांव के लोगों की सराहना कर रहे हैं।