चंडीगढ़: पंजाब के पूर्व मुख्यमंत्री बेअंत सिंह की हत्या के सिलसिले में एक विशेष अदालत ने जगतार सिंह तारा को आज आजीवन कारावास की सजा सुनाई। तारा के वकील सिमरनजीत सिंह ने बताया कि अतिरिक्त जिला और सत्र न्यायाधीश जे एस संधू ने यहां के उच्च सुरक्षा वाले बुड़ैल जेल में सजा का ऐलान किया, जहां तारा वर्तमान में कैद है।
उन्होंने कहा कि अदालत ने तारा पर 35 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया। वकील ने कहा कि उनका मुवक्किल फैसले को ऊपरी अदालतों में चुनौती नहीं देगा। तारा पर हत्या, हत्या के प्रयास, आपराधिक षड्यंत्र और विस्फोटक अधिनियम की धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया था। उसने 1995 में बेअंत सिंह की हत्या में संलिप्तता की बात स्वीकार की थी। उसने स्वीकारोक्ति से संबंधित पत्र इस वर्ष जनवरी में अदालत को सौंपी थी।
चंडीगढ़ में सिविल सचिवालय के बाहर 31 अगस्त 1995 को एक विस्फोट में तत्कालीन मुख्यमंत्री बेअंत सिंह मारे गए थे। इस घटना में 16 अन्य लोगों की भी मौत हुई थी। पंजाब पुलिस के कर्मचारी दिलावर सिंह ने इस घटना में मानव बम की भूमिका निभाई थी। तारा को सितम्बर 1995 में दिल्ली से गिरफ्तार किया गया था। बहरहाल, वह और दो अन्य आरोपी मामले की सुनवाई के दौरान 2004 में बुड़ैल जेल से फरार हो गए। बाद में उसे 2015 में थाईलैंड से गिरफ्तार किया गया।