Friday, November 15, 2024
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घर के अंदर भी अब मास्क पहनना शुरू करें, कोरोना वायरस की दूसरी लहर के बीच सरकार ने दी सलाह

देश कोरोना वायरस महामारी की दूसरी लहर का सामना कर रहा है, इस बीच सरकार ने लोगों की आशंकाओं को दूर करने का प्रयास करते हुए कहा है कि अनावश्यक अफरातफरी से लाभ के बजाय नुकसान हो रहा है।

Edited by: IndiaTV Hindi Desk
Updated on: April 26, 2021 23:51 IST
It's time to start wearing masks inside homes to prevent Covid-19, says govt- India TV Hindi
Image Source : PTI देश कोरोना वायरस महामारी की दूसरी लहर का सामना कर रहा है।

नयी दिल्ली: देश कोरोना वायरस महामारी की दूसरी लहर का सामना कर रहा है, इस बीच सरकार ने लोगों की आशंकाओं को दूर करने का प्रयास करते हुए कहा है कि अनावश्यक अफरातफरी से लाभ के बजाय नुकसान हो रहा है। इस बीच टीकाकरण और कोविड-19 से बचाव के लिए उपयुक्त व्यवहार अपनाने पर जोर देते हुए सरकार ने सलाह दी है कि यह ऐसा समय है कि लोगों को घर के भीतर भी मास्क पहनना चाहिए और मेहमानों को अपने घरों में आमंत्रित नहीं करना चाहिए। नीति आयोग के सदस्य (स्वास्थ्य) डॉ. वी के पॉल ने यहां संवाददाता सम्मेलन में कहा कि यदि घर में कोई संक्रमित व्यक्ति है, तो उसे मास्क पहनना ही चाहिए, ताकि घर के अन्य लोग उसके कारण संक्रमित न हों। 

उन्होंने कहा, ‘‘ बल्कि मैं तो यह कहूंगा कि अब समय आ गया है कि हम सामान्य तौर पर भी घर के भीतर मास्क पहनना शुरू करें। हम घर के बाहर मास्क लगाने के बारे में बात करते थे, लेकिन संक्रमण जिस तरह फैल रहा है, उसे देखते हुए यदि हम घर के भीतर किसी के भी पास बैठे हैं, तो भी हम मास्क पहनें।’’ पॉल ने कहा, ‘‘यदि घर में कोई संक्रमित व्यक्ति है, तो उस व्यक्ति को और घर में रह रहे अन्य लोगों को भी मास्क लगाना चाहिए तथा संक्रमित व्यक्ति को अलग कमरे में रखा जाना चाहिए।’’ 

उन्होंने कहा कि यदि घर में इस प्रकार की सुविधा नहीं है, तो लोगों को पृथक-वास केंद्रों में जाना चाहिए। पॉल ने कहा कि अस्पताल में भर्ती होना ही एकमात्र विकल्प नहीं है और ‘‘अस्पताल के बिस्तर जरूरतमंद लोगों के लिए होते हैं’’। एम्स के निदेशक डॉ. रणदीप गुलेरिया ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि अस्पताल की सुविधाओं के इष्टतम उपयोग के लिए सामुदायिक भागीदारी अहम है और लोगों में अनावश्यक घबराहट के कारण लाभ के बजाए नुकसान हो रहा है। 

उन्होंने कहा कि सामान्य ऑक्सीजन स्तर और मामूली लक्षण वाले लोग भी अस्पतालों में भर्ती होना चाहते हैं, जिसके कारण वास्तव में जरूरतमंद मरीजों को अस्पतालों के बाहर इंतजार करना पड़ रहा है और उन्हें उचित उपचार नहीं मिल पा रहा। देश में पिछले 24 घंटे में कोविड-19 के 3,52,991 नए मामले सामने आने के बाद संक्रमितों की कुल संख्या बढ़कर 1,73,13,163 हो गई जबकि उपचाराधीन मरीजों की संख्या 28 लाख को पार कर गई है।

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