Monday, December 23, 2024
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किर्गिस्तान से भारत पहुंची बीमार MBBS स्टूडेंट, केंद्रीय मंत्री गजेंद्र शेखावत के प्रयासों से हुई वापसी

डिंपल की रिकॉर्ड समय में भारत वापसी में स्वास्थ्य सेवा महानिदेशालय, नगर विमनान महानिदेशालय, बिश्केक स्थित भारतीय राजदूत आलोक अमिताभ डिमरी, डूंगरपुर के कलक्टर, एडीएम और उनके स्टाफ ने महत्वपूर्ण सहयोग किया।

Written by: IndiaTV Hindi Desk
Updated : June 12, 2020 20:14 IST
MBBS Students
Image Source : SPECIAL ARRANGEMENT किर्गिस्तान से भारत पहुंची बीमार MBBS स्टूडेंट

नई दिल्ली. कोरोना की महामारी की वजह से बहुत सारे हिंदुस्तानी दुनिया के अलग-अलग देशों में फंसे हुए हैं, सरकार इन सभी को वापस लाने का प्रयास भी कर रही है। गुरुवार को बांसवाड़ा की बेटी डिंपल त्रिवेदी गुरुवार शाम 5.45 बजे बिश्केक, किर्गिस्तान से नई दिल्ली पहुंच गई।

गंभीर रूप से बीमार डिंपल की स्वदेश वापसी केंद्रीय जलशक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत के प्रयासों से ही संभव हो सकी है। अब डिंपल का इलाज अहमदाबाद के जाइड्स हॉस्पिटल में होगा, जिसकी व्यवस्था पहले कर दी गई है। डिंपल के परिजन नई दिल्ली से उनके साथ रहेंगे।

डिंपल साल 2017 में एमबीबीएस करने के लिए किर्गिस्तान गई थी। गत दो जून को एकाएक उसकी तबियत ज्यादा बिगड़ गई। उसे टीबी और किडनी की परेशानी है। बिश्केक के टीबी अस्पताल के डॉक्टरों ने उसे भारत में इलाज करवाने की सलाह दी।

कोरोना महामारी के चलते बीमार डिंपल की बिश्केके से वापसी बेहद मुश्किल थी। मंगलवार सुबह डिंपल के परिजनों और अन्य लोगों ने केंद्रीय मंत्री शेखावत से डिंपल को भारत लाने का अनुरोध किया था, जिसके बाद उन्होंने डिंपल को भारत लाने की व्यवस्था करावाई। 

सरकार विदेशों में फंसे अन्य छात्रों को भी भारत लाएगी

केंद्रीय मंत्री गजेन्द्र सिंह शेखावत ने कहा कि वन्दे भारत मिशन के तहत  सरकार विदेशों में फंसे अन्य छात्रों को भी भारत लाएगी। कजाखिस्तान में फंसे राजस्थान के 450 छात्र-छात्राओं, जिनमें 16 बच्चे जोधपुर के हैं, उन्हें वापस लाया जाएगा। उन्होंने विदेश मंत्रालय और अन्य संबंधित विभागों से बातचीत की है। 19-20 जून तक कुछ फ्लाइट्स लगाकर इन्हें लाने के प्रयास हो रहे हैं। केंद्रीय मंत्री ने बताया कि वंदे भारत मिशन का तीसरा चरण 1 जुलाई तक चलेगा।  

पिता ने मदद के लिए आभार जताया

बिश्केक से डिंपल के साथ एयर एंबुलेस में चिकित्सा टीम के डॉ. महेश यादव, संदीप कुमार, राहुल रावल और सहायक हार्दिक पुरोहित आए। नई दिल्ली से डिंपल को वाया रोड एंबुलेस से अहमदाबाद ले जाया गया, जहां के एक हॉस्पिटल में उनका आगे इलाज होगा। पुजारी का काम करने वाले डिंपल के पिता महेश प्रसाद त्रिवेदी ने केंद्रीय मंत्री शेखावत का मदद के लिए आभार जताया है। 

इनका रहा सक्रिय सहयोग

डिंपल की रिकॉर्ड समय में भारत वापसी में स्वास्थ्य सेवा महानिदेशालय, नगर विमनान महानिदेशालय, बिश्केक स्थित भारतीय राजदूत आलोक अमिताभ डिमरी, डूंगरपुर के कलक्टर, एडीएम और उनके स्टाफ ने महत्वपूर्ण सहयोग किया। एडिशनल प्राईवेट सेक्रेटरी चिराग पंचाल ने शेखावत के जोधपुर रहने के दौरान दिल्ली में मन्त्रालयों के अधिकारियों और डूंगरपुर में डिम्पल के परिजनो और डूंगरपुर के जिला अधिकारियों के बीच समन्वय का काम किया। गौरतलब है कि पहले बुधवार सुबह चिकित्सा टीम डिंपल को लेकर बिश्केक से नई दिल्ली ला रही थी, लेकिन ऐन वक्त में पाकिस्तान से एयर एंबुलेस को फ्लाईओवर की परमिशन नहीं मिल सकी थी।

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