कोयंबटूर। महंगाई के बावजूद मात्र एक रुपए में इडली बेचकर गरीबों का पेट भरने वाली कोयंबटूर की दादी अम्मा को अब इडली बनाने के लिए लकड़ी के चूल्हे का इस्तेमाल करने की जरूरत नहीं है, सोशल मीडिया पर दादी अम्मा कमलाताल का वीडियो वायरल होने के बाद केंद्र सरकार ने उन्हें गैस चूल्हा और सिलेंडर देने का ऐलान किया है, पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने ट्वीट कर इस बात की जानकारी दी। अधिकारियों की टीम कमलाताल अम्मा के छोटे से होटल में पहुँची उन्हें गैस चूल्हा और कमर्शियल सिलेंडर देने के साथ-साथ उन्हें इस बात की ट्रेनिंग भी दी गई कि गैस चूल्हे को आखिर कैसे जलाया जाता है और उस पर इडली कैसे पकाई जा सकती है।
दरअसल महिंद्रा एंड महिंद्रा समूह के मालिक आनंद महिंद्रा के ट्वीट के बाद कमलाताल अम्मा की किस्मत खुल गई इस खबर को पढ़ने के बाद आनंद महिंद्रा ने ट्विटर के जरिए यह कहा था कि वह कमलाताल अम्मा के बिजनेस में निवेश करना चाहते हैं लकड़ी के चूल्हे पर इडली बनाती हुई कमलाताल अम्मा की तकलीफ को वे समझते हैं और चाहते हैं कि अपनी तरफ से वह उन्हें रसोई गैस का कनेक्शन और चूल्हा दें आनंद महिंद्रा के इस ट्वीट पर पेट्रोलियम मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने तुरंत एक्शन लिया और कमलाताल अम्मा को रसोई गैस का कनेक्शन और चूल्हा पहुंचा दिया गया सोशल मीडिया में कमला तालअम्मा का ये सेवा भाव जबरदस्त हिट हो गया है इसीलिए जिला प्रशासन ने भी उनसे वादा किया है कि उनके कच्चे मकान और होटल को पक्का बना कर दिया जाएगा।
80 साल की कमलाताल अम्मा कोयंबटूर से करीब 20 किलोमीटर दूर पेरुर के पास वेलमपलायम गांव में रहती हैं कमलाताल अम्मा पिछले 30 सालों से इडली साम्बार और मसालेदार चटनी बनाकर बिल्कुल घर जैसा स्वादिष्ट और पौष्टिक भोजन लोगों को खिलाती आ रही हैं, लेकिन बड़ी बात यह है कि वह इडली सिर्फ एक रुपए में बेचती हैं 10 साल पहले तक वह इस इडली को 50 पैसे में बेचती थीं लेकिन अब जब महंगाई बहुत ज्यादा हो गई है इसीलिए उन्होंने इडली के दाम को 1 रुपया कर दिया।
कमलाताल अम्मा रोज सुबह 4 बजे उठकर इडली, साम्बार, चटनी और वडा बनाने की तैयारी में जुट जाती हैं सुबह 6 बजे से लेकर 11 बजे तक कई लोग उनकी इस इडली और साम्बार का स्वाद चखने आते हैं लोगों का कहना है कि अगर पास के गांव में जाकर वह इडली खरीदते हैं तो वहां 6 रुपये में एक इडली मिलती है, वहाँ 30 में सिर्फ एक आदमी खा पाता है वहीं कमलाताल अम्मा के रेस्टोरेंट में 30 रुपये में कम से कम 3 लोग का पेट भर जाता है।
कमलाताल अम्मा से जब इस बारे में पूछा गया उन्होंने बड़ी सादगी से इसका जवाब दिया कि वह पैसा कमाने के लिए इस व्यवसाय को नहीं चला रही हैं बल्कि उन्हें इस बात की बहुत खुशी होती है जब लोग उनके यहां खाना खाकर उन्हें दिल से धन्यवाद देकर जाते हैं। उन्होंने कहा कि वे 30 साल से इडली बनाने का काम कर हैं, पहले 50 पैसे में इडली बेचती थी लेकिन महंगाई बढ़ जाने की वजह से अब दाम एक रुपए कर दिया है। अम्मा ने कहा कि कई लोग यहां पर आते हैं इडली, साम्बार चटनी खाते हैं और यह कहकर जाते हैं कि आपकी इडली बहुत ही स्वादिष्ट है मैं इडली एक रुपए में इसलिए बेचती हूं ताकि लोग पेट भर कर खाना खा सकें मुझे इसमें बहुत संतोष मिलता है।