गुवाहाटी: असम में जहरीली शराब पीने के कारण गोलाघाट व जोरहाट जिलों के अस्पताल में और लोगों की मौत हो जाने के बाद मरने वालों की संख्या रविवार को बढ़कर 143 हो गई। अधिकारियों ने इस बात की जानकारी दी। रविवार शाम तक गोलाघाट में 85 लोगों (54 पुरुष, 31 महिला) और जोरहाट में 58 लोगों (43 पुरुष, 15 महिला) की मौत हुई है। गोलाघाट उपायुक्त धीरेन हजारिका ने कहा, "जहरीली शराब पीने के बाद गोलाघाट जिले में कुल 85 लोगों की मौत हो गई..जिले में करीब 100 लोगों का उपचार चल रहा है। दोपहार बाद से नए मरीजों के आने का सिलसिला कम हुआ है।"
जोरहाट की उपायुक्त रोशनी कोराती ने कहा कि जिले में जहरीली शराब पीने के कारण रविवार तक 58 लोगों की मौत हुई है। उन्होंने कहा, "जोरहाट चिकित्सा कॉलेज व अस्पताल में कुल 160 लोगों का उपचार चल रहा है। उनमें से 16 की हालत बहुत खराब बताई जा रही है।" आबकारी विभाग ने राज्य भर में अवैध देशी शराब के खिलाफ सिलसिलेवार अभियान चलाया हुआ है। घटना के बाद लोगों, विशेषकर महिलाओं द्वारा कई देशी शराब की दुकानों को ध्वस्त कर दिया गया है। लोगों के साथ-साथ सिविल सोसाइटी समूहों ने पूरे असम में सड़कों पर उतरकर जहरीली शराब बेचने वालों के खिलाफ कड़ी सजा की मांग की है।
आबकारी विभाग के एक वरिष्ठ प्रवक्ता ने कहा कि आबकारी कानून के उल्लंघन और अवैध शराब की बिक्री व उत्पादन के कुल 90 मामले दर्ज किए गए हैं। उन्होंने कहा, "हमने 22 फरवरी से 4,860 लीटर अवैध शराब जब्त और नष्ट की है।" मुख्यमंत्री सर्बानंद सोनोवाल ने शनिवार को जोरहाट मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल का दौरा किया और पीड़ितों का हाल जाना। उन्होंने पीड़ितों के परिवारों को दो लाख रुपये और इलाज करवा रहे लोगों को 50,000 रुपये की अनुग्रह राशि देने की घोषणा की। यहां से 300 किमी दूर गोलाघाट के सालमोरा चाय बागान और जोरहाट जिले के टिटोरबोर उपमंडल के दो दूरदराज के गांवों में गुरुवार रात बड़ी संख्या में लोगों ने जहरीली शराब का सेवन किया था।