नई दिल्ली: केंद्र सरकार ने मंगलवार को जोर देकर कहा कि वस्तु एवं सेवा कर (GST) एक जुलाई से ही लागू होगा और इसके सुचारू क्रियान्वयन को लेकर तैयारी जोर-शोर से जारी है। सरकार ने इसे टाले जाने की अफवाह को सिरे से खारिज कर दिया। (पढ़ें: जारी हुआ 500 रुपये का नया नोट, जानिए क्या होगा पुराने पांच सौ की करेंसी का)
उद्योग से जुड़ा एक तबका GST क्रियान्वयन को टाले जाने की मांग करता रहा है। पश्चिम बंगाल के वित्त मंत्री अमित मित्रा ने भी GST एक महीने टाले जाने की मांग की थी। वित्त मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि भारत सरकार ने जोर देकर कहा है कि GST एक जुलाई 2017 से लागू होना है। केंद्रीय उत्पाद एवं सीमा शुल्क बोर्ड (CBEC) ने राज्य सरकारों के साथ मिलकर अपना संपर्क कार्यक्रम बढ़ाया है ताकि अंतिम व्यापारी तक पहुंचा जा सके। (पढ़ें: लंदन कोर्ट में पेशी से पहले माल्या ने कहा, 'मेरे ऊपर लगे सभी आरोप झूठे')
राजस्व सचिव हसमुख अधिया ने कहा कि GST के क्रियान्वयन में देरी की अफवाह केवल एक झूठ है। कृपया इसको लेकर गुमराह न हों। मंत्रालय ने कहा कि ऐतिहासिक GST को एक जुलाई से लागू करने के लिए तैयारी जोर-शोर से जारी है। केंद्रीय वित्त मंत्री अरुण जेटली की अध्यक्षता वाली जीएसटी परिषद ने 1,200 वस्तुओं तथा 500 सेवाओं पर कर की दरें तय कर दी हैं। इन वस्तुओं और सेवाओं को 5, 12, 18 और 28 प्रतिशत के कर स्लैब में रखा गया है।
इसी रविवार को हुई GST काउंसिल की मीटिंग के बाद अरुण जेटली ने कहा था कि केंद्र और राज्यों के बीच ज्यादातर मसलों पर बातचीत हो चुकी है। यह पूछे जाने पर कि छोटे कारोबारियों का कहना है कि वे इस व्यवस्था के लिए तकनीकी तौर पर तैयार नहीं हैं, उनका कहना था कि कुछ लोग कह सकते हैं कि वे तैयार नहीं हैं लेकिन यह कोई विकल्प नहीं है और इसके लिए तैयारी करनी होगी। वित्तमंत्री ने कहा कि इसके लिए आपको प्रतिबद्धता दिखानी होगी।