नयी दिल्ली: अमरनाथ यात्रा के दौरान हुए आतंकी हमले में अपनी सूझबूथ से तीर्थयात्रियों की जान बचाने वाले बस ड्राइवर शेख सलीम गफूर को सरकार ने वीरता पुरस्कार से सम्मानित किया है। आतंकी हमले का बहादुरी से सामना कर सलीम ने अपनी सूझबूझ से 52 तीर्थयात्रियों की जान बचाई थी। बस ड्राइवर शेख सलीम गफूर को ‘उत्तम जीवन रक्षा पदक’ से सम्मानित किया गया है, जो वीरता के लिये नागरिकों को दिये जाने वाला दूसरा सबसे बड़ा सम्मान है। गणतंत्र दिवस से पहले गृह मंत्रालय ने इसकी घोषणा की है। ‘सर्वोत्तम जीवन रक्षा पदक’ वीरता के लिए नागरिकों को दिया जाने वाला सर्वोच्च सम्मान है।
गृह मंत्रालय के एक अधिकारी ने बताया कि गफूर को इस सम्मान के लिये इसलिये चुना गया क्योंकि 10 जुलाई, 2017 को जम्मू-कश्मीर में अमरनाथ यात्रियों को लेकर जा रही बस पर आतंकवादियों ने हमला कर दिया था, इसके बावजूद बस चालक गफूर ने बस चलाना जारी रखकर असाधारण साहस और बहादुरी का परिचय दिया था।
जम्मू-कश्मीर के अनंतनाग जिले में बातेंगू के नजदीक आतंकवादियों ने बस पर गोलीबारी शुरू कर दी थी, तब बस के चालक गफूर ने अपनी सूझबूझ और बहादुरी से 52 तीर्थयात्रियों की जान बचाई थी। उस घटना में सात तीर्थयात्रियों की जान चली गई थी और 14 अन्य घायल हो गये थे। पुरस्कार के अलावा बाद में, गफूर को एक विशेष समारोह में एक लाख रुपये की नकद राशि भी प्रदान की जाएगी। पुलिस कर्मियों को इस वर्ष कुल 107 पुलिस वीरता पदक दिए गए हैं।