हैदराबाद। डेंगू बुखार ने तेलंगाना में विकराल रूप धारण किया है। डेंगू के कारण तेलंगाना के मंचीरियाल के श्री श्री नगर कॉलोनी के रहने वाले एक ही परिवार के तीन पीढ़ी को निगल गई है। सिर्फ 15 दिन के भीतर डेंगू बुखार एक ही परिवार के चार लोगों की मौत का कारण बना। यह मामला सबकी जानकारी में तब आया जब गुडिमल्ला सोना (29) नाम की महिला डेगूं की वजह से हैदराबाद के यशोदा अस्पताल में 29 अक्टूबर को डेंगू दम तोड़ा। महिला गर्भवती थीं और मृत्यु से पहले उन्होंने एक नवजात शिशु को जन्म दिया था।
महिला की मौत से करीब 2 हफ्ते पहले 16 अक्तूबर को उनके पति पति गुडिमल्ला राजू गट्टु (30) जो पेशे से एक टीचर थे, उनकी भी डेंगू की वजह से मौत हुई थी। उसके 4 दिन बाद बाद राजू गट्टू के दादा जी ऐडा लिंगय्या (70) और दादा की मृत्यु के कुछ समय बाद महिला की 5 साल की बेटी श्री वर्षिणी की भी डेंगू के कारण मौत हो गई।
परिवार के 3 सदस्यों की मौत के बाद 29 अक्टूबर को सोना में भी डेंगू के लक्ष्ण दिखे और उन्हें भी सिकंदराबाद के यशोदा अस्पताल में भर्ती किया गया था। सोना गर्भवती थीं और डेंगू से पीड़ित होने के दौरान ही उन्होंने मंगलवार को बच्चे को जन्म दिया। लेकिन बच्चे के जन्म के कुछ घंटों बाद ही महिला की भी मृत्यु हो गई।
डेंगू के कारण एक ही परिवार के चार लोगों की मौत हो जाने से मंचीरियाल जिले के लोगों में भय व्याप्त हो गया है। मंचीरियाल के लोगों ने डेंगू निवारण के लिए आवश्यक कदम उठाने का सरकार से आग्रह किया है। तेलंगाना के अस्पतालों में मरीजों की भारी भीड़ लगी रहती है, जिसमें डेंगू के लक्षणों के मरीज भी शामिल हैं। पिछले कुछ महीनों में हजारों मामले सामने आये हैं, लेकिन राज्य सरकार इससे इनकार कर रही है और निजी अस्पतालों को भी डेंगू मरीजों की संख्या नहीं बताने को कहा गया है। राज्य सरकार का कहना है कि ऐसा वह इसे लेकर दहशत फैलने से रोकने के लिए कर रही है।
राज्य के प्रमुख सरकारी अस्पतालों व हैदराबाद में निजी स्वास्थ्य सुविधाओं व दूसरे हिस्सों में सैंकड़ों लोगों का वायरल बुखार, मलेरिया और मौसमी बीमारियों व डेंगू के लक्षणों का इलाज चल रहा है।