नई दिल्ली: दिल्ली दंगों के दौरान हुई आईबी अफसर अंकित शर्मा की हत्या के आरोपी को दिल्ली पुलिस ने गिरफ्तार किया है। सलमान उर्फ हसीन नाम के इस आरोपी ने स्पेशल सेल को पूछताछ में बताया है कि ये 23 फरवरी को पुरानी दिल्ली में ईदगाह में जमात में शामिल हुआ था। इसके बाद दोपहर में इसे नार्थ ईस्ट दिल्ली में दंगे शुरू होने की जानकारी दी गई। 24 फरवरी को वाट्सऐप ग्रुप के जरिए इसे बस के जरिए खजूरी पहुंचने के लिए कहा गया।
ऑर्डर मिलते ही ये गली-गली होता हुआ चांदबाग में आम आदमी पार्टी के पूर्व पार्षद ताहिर हुसैन के घर पहुंचा। अगले दिन 25 फरवरी को दंगे के दौरान इसने अपने 6 साथियों के साथ मिलकर बाहर से अंकित को खींचकर ताहिर के घर लेकर आया, उसे निर्वस्त्र कर चेक किया और फिर चाकुओं से हमला कर मौत के घाट उतार दिया।
सलमान की अंकित से कोई दुश्मनी नही थी ये सब दंगे में ही की हुई हत्या है। सलमान ने हत्या के बाद दो कॉल किए। उसके कॉल डिटेल से पता चला है उसने अपने भाई और भाभी को कॉल करके कहा कि दंगे में उससे हत्या हुई है। वहीं पोस्टमॉर्टम रिपोर्ट में मल्टीपल स्टेबिंग की बात सामने आ चुकी है।
बता दें कि अंकित की हत्या के मामले में दिल्ली पुलिस स्पेशल सेल ने गुरुवार को सलमान को गिरफ्तार किया था। पुलिस ने सलमान को दिल्ली के सुंदर नगर इलाके से गिरफ्तार किया। सलमान के पांच नाम हैं - सलमान उर्फ मोमिन उर्फ हसीन उर्फ मुल्ला उर्फ नन्हे।
अंकित शर्मा का शव 26 फरवरी को दिल्ली के चांदबाग इलाके के नाले से बरामद हुआ था। फिर अंकित के परिवार ने आम आदमी पार्टी के पूर्व पार्षद ताहिर हुसैन के खिलाफ अंकित की हत्या की FIR दर्ज करवाई थी। अंकित के पिता ने FIR में लिखवाया कि पहचान छिपाने के लिए मेरे बेटे अंकित के चेहरे को जलाया गया था।