नई दिल्ली: दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने बुधवार को पांच नौकरशाहों के खिलाफ साक्ष्य जुटाने का आदेश दिया। इसमें मुख्य सचिव अंशु प्रकाश व उनके चार पूर्ववर्ती शमिल हैं। इन पर एक व्हिसिल ब्लोअर ने भ्रष्ट अधिकारियों से रिश्वत लेने का आरोप लगाया है। केजरीवाल ने ट्वीट किया, "उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया व मंत्री (सर्तकता) को शिकायतकर्ता से मिलने व सभी साक्ष्य प्राप्त करने का निर्देश दिया।"
दिल्ली के सरकारी अस्पताल में काम कर रहे एक व्हिसिल-ब्लोअर चिकित्सक अविनाश कुमार ने इन पांच अधिकारियों के द्वारा कथित तौर गलती को छिपाने को लेकर विवरण व साक्ष्य दिए हैं। अविनाश ने अपनी शिकायत राष्ट्रपति , प्रधानमंत्री कार्यालय व केंद्रीय सर्तकता आयोग व केंद्रीय जांच ब्यूरो से की है। अविनाश कुमार ने कहा कि भ्रष्ट अधिकारियों के खिलाफ दर्ज की गई सभी शिकायतों को या तो पूछताछ के बिना छोड़ दिया गया है या जिस अधिकारी के खिलाफ शिकायत दर्ज की गई थी उन्हें ही भेज दिया गया है।
अविनाश कुमार ने दावा किया, "मुख्य सचिव जो जीएनसीटीडी के केंद्रीय सर्तकता अधिकारी है, भ्रष्टाचार की जांच को लेकर अनभिज्ञता जाहिर की। उन्होंने जानबूझकर सर्तकता कोण व भ्रष्टाचार की जांच को आगे बढ़ाने से रोक दिया और रिश्वत के बदले भ्रष्टाचार को बचाने का काम किया।" शिकायतकर्ता ने कहा कि कर मुक्त नकदी की रिश्वत ने सीवीओ को भ्रष्टाचार के खिलाफ अपने कर्तव्य को करने से रोका।