चक्रवाती तूफान पेथाई देश के पूर्वी तट पर दस्तक दे रहा है। बंगाल की खाड़ी में बना कम दबाव का क्षेत्र उत्तर पश्चिमी तट की ओर बढ़ रहा है। फिलहाल यह 17 किमी. प्रति घंटे की रफ्तार से बढ़ रहा है। मौसम विभाग के अनुसार इसके अगले 24 घंटे के भीतर चक्रवाती तूफान में बदलने की आशंका है। तूफान की संभावना को देखते हुए पूर्वी तट पर मौजूद ओडिशा, आंध्र प्रदेश और तमिलनाडु में स्थानीय प्रशासन हाई अलर्ट पर है। आंध्र प्रदेश में स्कूलों को 2 दिन तक बंद रखने के निर्देश दिए गए है। वहीं मछुआरों को भी अगले दो दिन समुद्र में न जाने के लिए कहा गया है।
तूफान के उत्तर-उत्तरपश्चिम की ओर बढने तथा 17 दिसंबर की दोपहर ओंगोल और काकीनाडा के बीच आंध्र प्रदेश की तटीय सीमा पार करने की संभावना है। तूफान के कारण 16 और 17 दिसंबर को तटीय आंध्र प्रदेश के ज्यादातर स्थानों पर बारिश जबकि कुछेक स्थानों पर बहुत भारी बारिश होने की आशंका है। बता दें कि पिछले दो महीने में पूर्वी तट पर दस्तक देने वाला यह तीसरा चक्रवाती तूफान है। इससे पहले तितली और गज तूफान पूर्वी तट पर भारी तबाही मचा चुके हैं।
आंध्र प्रदेश में हाई अलर्ट
तूफान की आशंका को देखते हुए राष्ट्रीय आपदा प्रबंधन बल (एनडीआरएफ) भी अलर्ट पर है। आंध्र प्रदेश सरकार ने अपने पांच तटीय जिलों में स्टेट डिजास्टर रिस्पांस फोस और एनडीआरएफ को तैनात किया है। राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के निदेशक पी वेंकटेश के हवाले से कहा गया है कि एनडीआरएफ और एसडीआरएफ को तटवर्ती जिलों गुंटूर, कृष्णा, पश्चिमी गोदावरी, पूर्वी गोदावरी और विशाखापत्तनम में रखा गया है जबकि सरकारी मशीनरी को हाई अलर्ट पर रखा गया है।
उन्होंने कहा कि एसडीआरएफ की दो टीमें (80 सदस्य) और एनडीआरएफ की दो टीमों (60 सदस्य) को सभी जरूरी उपकरणों के साथ इन जिलों में तैनात रखा गया है। उन्होंने कहा कि आंध्र प्रदेश आपदा प्रतिक्रिया और दमकल की 16 टीमों को राजामहेंद्रवरम में रिजर्व में रखा गया है जबकि नौ और (प्रत्येक में पांच सदस्य) को पश्चिम गोदावरी जिले में सड़क पर आवागमन सुचारू रूप से बनाये रखने के लिए रखा गया है।
तूफान से पहले तेज हवाओं का दौर जारी
मौसम विभाग की बुलेटिन में कहा गया कि शनिवार से आंध्र प्रदेश, उत्तरी तमिलनाडु और पुडुचेरी तटों पर 45 से 55 किलोमीटर प्रतिघंटे की रफ्तार से हवाएं चल सकती हैं। दक्षिणपूर्व बंगाल की खाड़ी के ऊपर बना गहरे दबाव का क्षेत्र पश्चिम-उत्तरपश्चिम की ओर बढ़ा और शनिवार की सुबह दक्षिणपश्चिम और दक्षिणपूर्व बंगाल की खाड़ी के ऊपर पहुंचा। दबाव का क्षेत्र यहां से 690 किलोमीटर दक्षिणपूर्व में और आंध्र प्रदेश के मछिलीपट्टनम के 890 किलोमीटर दक्षिण-दक्षिणपूर्व में और श्रीलंका के ट्रिंकोमाली के 440 किलोमीटर पूर्व-उत्तरपूर्व में मौजूद है।