नई दिल्ली। IRCTC के दो होटलों को निजी कंपनी को सौंपने में हुई कथित अनियमितता की जांच कर रही CBI जल्द ही रेलवे के कुछ अधिकारियों से पूछताछ कर सकती है। जांच एजेंसी के अधिकारियों के अनुसार, सुजाता होटल्स को प्रदान की गई बोली से संबंधित दस्तावेजों और फाइलों को जुटा लिया गया है। आपको बता दें कि तत्कालीन रेलमंत्री लालू प्रसाद के कार्यकाल में IRCTC के दो होटलों को निजी कंपनी को सौंपा गया था।
CBI के एक अधिकारी ने नाम न जाहिर करने के अनुरोध के साथ शनिवार को कहा कि एजेंसी जल्द ही रेलवे के कुछ अधिकारियों से पूछताछ करेगी। रेलवे के एक वरिष्ठ अधिकारी ने भी पुष्टि की है कि सीबीआई ने होटलों की बोलियों से संबंधित दस्तावेज उनसे ले लिए हैं। सीबीआई अधिकारी ने यह भी कहा कि बोलियों से संबंधित सभी दस्तावेजों की जांच की जा रही है और उसके बाद लालू प्रसाद व उनके परिवार से इस मामले में पूछताछ की जा सकती है।
CBI ने पांच जुलाई को लालू प्रसाद, उनकी पत्नी राबड़ी देवी, उनके बेटे तेजस्वी प्रसाद यादव, इंडियन रेलवे कैटरिंग एंड टूरिज्म कॉरपोरेशन (IRCTC) के पूर्व प्रबंध निदेशक पी.के. गोयल, और लालू के विश्वासपात्र प्रेमचंद गुप्ता की पत्नी सरला गुप्ता के खिलाफ, रांची एवं पुरी में स्थित होटलों के विकास, रखरखाव और संचालन के लिए बोली सौंपने के आरोपों में आपराधिक साजिश, धोखाधड़ी व आपराधिक कदाचार का एक मामला दर्ज किया था। उसी वर्ष दोनों होटल आईआरसीटीसी को हस्तांतरित कर दिए गए थे।
CBI ने सात जुलाई को दिल्ली, गुरुग्राम, पटना, रांची और पुरी में 12 से अधिक स्थानों पर छापे मारे थे। CBI के अनुसार, रांची और पुरी में स्थित बीएनआर होटलों के विकास, रखरखाव और संचालन की बोली सुजाता होटल्स के पक्ष में करने के लिए उसमें धांधली की गई थी, और इसके एवज में पटना के शगुना मोड़ इलाके में कुल तीन एकड़ के 10 भूखंड हासिल किए गए थे। लालू प्रसाद उस समय 2004-09 के बीच रेल मंत्री थे।