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बिहार बजट: पहली बार मंदिर की घेराबंदी के लिए पैसे, अल्पसंख्यक विभाग में 160 करोड़ की कटौती

वित्त मंत्री ने बताया कि कब्रिस्तान की घेराबंदी योजना के तहत कुल मिलाकर 482 करोड़ों रुपए देकर कुल 8064 कब्रिस्तानों में से 5733 कब्रिस्तानों की घेराबंदी का कार्य पूर्ण कर लिया गया है।

Edited by: IndiaTV Hindi Desk
Published on: February 28, 2018 11:18 IST
मुख्यमंत्री नीतीश...- India TV Hindi
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के साथ वित्त मंत्री सुशील मोदी।

मंगलवार को बिहार सरकार में वित्त मंत्री सुशील मोदी ने इस साल का बजट राज्य की विधानसभा में पेश किया। दोबारे बीजेपी से हाथ मिलाने के बाद नीतीश सरकार का ये पहला बजट था। साल 2018-19 के लिए पेश किए गए इस बजट में एक ओर जहां पहली बार बजट में मंदिरों की घेराबंदी के लिए राशि आवंटित की गई हैं। जानकार इसे बजट में बीजेपी के बढ़ते प्रभाव से जोड़कर देख रहे हैं। वहीं इस साल के बजट में अल्पसंख्यकों से जुड़ी योजनाओं का राशि में कटौती कर दी गई है। सरकार के इस फैसले पर मुख्य विपक्षी पार्टी आरजेडी ने आपत्ति जताई है। पूर्व वित्त मंत्री और आरजेडी नेता अब्दुल बारी सिद्दीकी ने कहा है कि अल्पसंख्यक कल्याण विभाग के बजट को लगभग आधा कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि अल्पसंख्यक कल्याण विभाग का बजट 595 करोड़ रुपये से घटाकर 435 करोड़ किया गया जो कि बीजेपी की मानसिकता को दिखाती है।

राज्य के इतिहास में पहली बार मंदिर की चाहरदीवारी के लिए बजट का प्रावधान किया गया है। कुल मिलाकर 275 मंदिरों की चहारदीवारी के लिए 30 करोड़ रुपए के बजट का आवंटन किया गया है। विधानसभा में सुशील मोदी ने बताया कि कब्रिस्तान की घेराबंदी योजना के तहत कुल मिलाकर 482 करोड़ों रुपए देकर कुल 8064 कब्रिस्तानों में से 5733 कब्रिस्तानों की घेराबंदी का कार्य पूर्ण कर लिया गया है। इसके अलावा इस बजट में कोई नया कर नहीं लगाया गया है।  वित्त मंत्री ने बताया कि इस बजट में सबसे अधिक 32125 करोड रूपये का व्यय शिक्षा के क्षेत्र में किया जाएगा जो कि कुल बजट का 18 प्रतिशत है। 

 

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