Yoga Tips: दुनिया में करोड़ों लोग एक ऐसी कंडीशन के साथ जी रहे हैं, जो कभी भी उनकी जान ले सकती है। लेकिन हैरानी इस बात की है कि उन्हें इस बीमारी की जानकारी तो छोड़िए अंदाज़ा तक नहीं है। ये सूरत-ए-हाल तब है, जबकि इस बीमारी को आसानी से ठीक किया जा सकता है। जी हां! हम बात साइलेंट किलर कही जाने वाली हाइपरटेंशन की कर रहे हैं, जिसमें हार्ट अटैक और ब्रेन स्ट्रोक के साथ 27% तक किडनी भी फेल होने का रिस्क बढ़ जाता है।
हड्डियों को कमजोर करता है हाई बीपी
इतना ही नहीं, अमेरिकन हार्ट एसोसिएशन की एक ताज़ा रिसर्च के मुताबिक हाई बीपी से हड्डियां भी वक्त से पहले बूढ़ी और कमज़ोर हो जाती हैं। दरअसल हाइपरटेंशन के मरीज़ों को हड्डियों में सूजन की वजह से ऑस्टियोपोरोसिस होने के चांस कई गुना बढ़ जाते हैं। इस बीमारी में bone mineral density और bone mass तेज़ी से घटता है और हड्डियों के फ्रैक्चर का खतरा बढ जाता है।
सर्दियों में बढ़ता है ब्लड प्रेशर
ऐसे में हाई बीपी को लेकर अवेयर होने की ज़रूरत है, क्योंकि हल्की हल्की सर्दियां भी शुरू हो गई हैं। ठंडे मौसम में कमज़ोर इम्यूनिटी, जोड़ों में दर्द और अस्थमा के साथ जो दिक्कत सबसे ज़्यादा देखने को मिलती है वो हाई बीपी है। अब सवाल ये है कि आखिर सर्द मौसम में ब्लड प्रेशर के बढ़ने की वजह क्या है।
Arteries सिकुड़ने से होती है समस्या
दरअसल टेंपरेचर कम होने से Arteries सिकुड़ने लगती हैं और शरीर में खून की सप्लाई बनाए रखने के लिए ज़्यादा फोर्स लगती है और ब्लड प्रेशर हाई हो जाता है। इसके अलावा वर्कआउट की कमी, तला, भुना, नमकीन खाना, कम पानी पीना और वज़न बढ़ना भी ब्लड प्रेशर का लेवल अप कर देते हैं। ऐसे में ज़रूरी है कि अपना बीपी बैलेंस रखें। चक्कर आएं, सिरदर्द हो, चेस्टपेन हो, घबराहट-बेचैनी हो तो तुरंत बीपी चेक कराएं। क्योंकि ये सब हाइपरटेंशन के ही लक्षण हैं, जिनका पता होना ज़रूरी है। क्योंकि जब बीमारी का ही पता नहीं होगा तो इलाज कैसे होगा। हार्ट और ब्रेन पर मंडराता खतरा कैसे रुकेगा।
क्या एहतियात बरतें
इसलिए आज हम ना सिर्फ हाई बीपी क्योर करने के उपाय स्वामी जी से जानेंगे बल्कि ये भी समझेंगे कि उसके लक्षण को पहचानकर क्या एहतियात बरतें कि बीपी की गोली ना खानी पड़े।
हाइपरटेंशन
30-79 साल के करीब 128 करोड़ मरीज (दुनिया में) ़
58 करोड़ से ज़्यादा, बीमारी से अंजान
देश में 55% पेशेंट को बीमारी का पता नहीं
हाई बीपी से खतरा
- हार्ट अटैक
- ब्रेन स्ट्रोक
- किडनी फेल
- डिमेंशिया
हाई ब्लड प्रेशर, बोन्स पर असर
- ऑस्टियोपोरोसिस की बीमारी का डर
- बोन मिनरल डेंसिटी कम होती है
- bone mass घटता है
- हड्डियों में फ्रैक्चर का खतरा ज़्यादा
सर्दी में बढ़ी ये परेशानी
- आर्थराइटिस
- अस्थमा
- कमज़ोर इम्यूनिटी
- हाई बीपी
सर्दी में हाई बीपी, क्या है वजह
- ठंड से आर्टरीज में सिकुड़न
- खून गाढ़ा होता है
- शरीर में खून की सप्लाई पर असर
- ब्लड फ्लो के लिए ज़्यादा फोर्स लगती है
- हार्ट पर दबाव से बीपी हाई
- वर्कआउट कम करते हैं
- तला-भुना ज़्यादा खाते हैं
- वज़न बढ़ने लगता है
हाई बीपी के लक्षण
- सिरदर्द
- तनाव
- सांस की दिक्कत
- नसों में झनझनाहट
- चक्कर
- तेज़ धड़कन
- बार-बार सिरदर्द
- ब्रीदिंग प्रॉब्लम
- नसों में झनझनाहट
- चक्कर आना
नॉर्मल ब्लड प्रेशर 120/80
हाई ब्लड प्रेशर
ऊपर वाला - 140+
नीचे वाला - 90+
लो ब्लड प्रेशर
ऊपर वाला - 90
नीचे वाला - 60
हाइपरटेंशन से कैसे बचें?
- डाइट हेल्दी रखें
- वजन कंट्रोल करें
- नमक कम लें
- योग-मेडिटेशन करें
- अल्कोहल बंद कर दें
- कंट्रोल होगा बीपी
- खूब पानी पीएं
- स्ट्रेस-टेंशन कम लें
- खाना समय से खाएं
- जंक फूड ना खाएं
- 6-8 घंटे की नींद लें
- फास्टिंग करने से बचे
बीपी नॉर्मल रहेगा, खाने में शामिल करें
- खजूर
- दालचीनी
- किशमिश
- गाजर
- अदरक
- टमाटर
जब बीपी हो हाई, ना करें ये आसन
- शीर्षासन
- सर्वांगासन
- दंड-बैठक
किडनी बचाएं
- सुबह नीम के पत्तों का रस पीएं
- शाम को पीपल के पत्तों का रस पीएं
कोलेस्ट्रॉल करें कंट्रोल, लौकी का सूप पीएं
- लौकी की सब्जी खाएं
- लौकी का जूस लें
जब बीपी हो लो, कैसे इंस्टेंट बढ़ाएं?
- नींबू पानी पीएं
- तुरंत मीठी चीज़ खाएं
- कॉफी पी सकते हैं
- केला, पपीता लें
- मखाना, पालक जरूर खाएं
- तुलसी के पत्ते चबाएं
हाई बीपी के लिए एक्यूप्रेशर
- सभी उंगलियों के टॉप दबाएं
- हथेली के बीच का हिस्सा दबाएं