Highlights
- गिलोय एक आयुर्वेदिक जड़ी बूटी है।
- गिलोय कई बीमारियों में असरदार है।
Uric Acid: भागदौड़ भरी जिंदगी में लोग हल्के-फुल्के दर्द को गंभीरता से न लेते हुए नजरअंदाज कर देते हैं। ऐसा ही एक दर्द है, पैरों की एड़ी में अचानक शुरू हुआ दर्द और उससे जुड़ी हुई सूजन, जिसकी मुख्य वजह है बढ़ा हुआ यूरिक एसिड। अगर समय रहते इसे कंट्रोल न किया जाए तो कई स्वास्थ्य समस्याएं होने लगती हैं, जैसे, गठिया, शुगर, जोड़ों से दर्द, सूजन आदि शामिल हैं। यहां तक की किडनी में स्टोन और किडनी के फेल होने का खतरा भी बढ़ जाता है। इसलिए यूरिक एसिड को कंट्रोल करना बेहद ही जरूरी होता है।
ऐसे में दवाइयों के अलावा कुछ आयुर्वेद अपनाने के साथ ही खान-पान में थोड़े बदलाव कर आप यूरिक एसिड के लेवल को कम कर सकते हैं। इसी आयुर्वेद में से एक गिलोय है। आइए जानते हैं गिलोय किस तरह से यूरिक एसिड के लेवल को कम करने में असरदार है।
यूरिक एसिड कंट्रोल करेगा गिलोय
गिलोय एक आयुर्वेदिक जड़ी बूटी है। ये कई बीमारियों में असरदार है। अगर आप यूरिक एसिड की समस्या से जूझ रहे हैं तो गिलोय इस समस्या को भी कंट्रोल करने में कारगर है। इसमें गिलोय में अधिक मात्रा में एंटी-इंफ्लेमेटरी तत्व पाएं जाते हैं जो यूरिक एसिड के लक्षणों को कम करता है। इसके लिए बस आपको इसके इस्तेमाल के सही तरीके की जानकारी होनी चाहिए।
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- रोजाना गिलोय का इस्तेमाल करना लाभकारी होगा।
- इसके लिए सबसे पहले गिलोय की ताजी पत्तियों और तने को तोड़ लें।
- उसके बाद इसे रात भर भिगोकर रख दें।
- अगले सुबह इसे पीस लें।
- उसके बाद 1 गिलास पानी और इस पाउडर को पैन में डालें और गैस पर चढ़ा दें।
- अब इसे आधा होने तक उबालें।
- उसके बाद इसे छानकर पी लें।
Disclaimer: लेख में उल्लिखित सुझाव केवल सामान्य जानकारी के उद्देश्य से हैं और इसे पेशेवर चिकित्सा सलाह के रूप में नहीं लिया जाना चाहिए। कोई भी फिटनेस व्यवस्था या चिकित्सकीय सलाह शुरू करने से पहले कृपया डॉक्टर से सलाह लें।
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