डायबिटीज एक ऐसी बीमारी है जिसमें शुगर मेटाबोलिज्म खराब हो जाता है और शरीर शुगर पचाने की जगह इसे खून में मिला देता है। इससे शुगर खून के जरिए तमाम अंगों तक पहुंच जाता है और फिर कई लक्षणों को पैदा करता है। इतना ही नहीं ये दिल, लिवर और किडनी के काम काज को भी प्रभावित करता है और डायबिटीज में शुगर कंट्रोल करने में मदद करता है। इतना ही नहीं इन दोनों का सेवन मेटाबोलिक रेट बढ़ाता है और इंसुलिन सेल्स की गति में तेजी लाता है। इस प्रकार से ये दोनों ही बीज डायबिटीज कंट्रोल करने में मदद करते हैं।
डायबिटीज के मरीज करें इन 2 बीजों का सेवन:
डायबिटीज के मरीजों को सूरजमुखी और अलसी के बीजों को सेवन करना चाहिए। इन बीजों में बायोएक्टिव घटक जैसे सूरजमुखी के बीजों में क्लोरोजेनिक एसिड और सेकोइसोलारिसिनॉल डिग्लुकोसॉइड इंसुलिन प्रतिरोध या इंसुलिन उत्पादन के उपचार में शामिल हैं। ये दोनों बेहतर ग्लाइसेमिक कंट्रोल में मदद करते हैं। इसके अलावा सूरजमुखी के बीज और अलसी के बीजों को सेवन पेट में फाइबर की मात्रा को बढ़ाता है और पाचन क्रिया में तेजी लाता है। ये इंसुलिन सेल्स को बढ़ावा देता है और शुगर मेटाबोलिज्म में तेजी लाता है। इसकी वजह से शरीर में शुगर तेजी से पचने लगता है और डायबिटीज की बीमारियों से बचाव होता है। इसके अलावा इन दोनों के एंटीऑक्सीडेंट्स डायबिटीज कंट्रोल करने में मदद करता है और इंसुलिन के काम काज को सही रखने में मदद करते हैं।
कैसे खाएं सूरजमुखी और अलसी के बीज?
सूरजमुखी और अलसी के बीजों को भिगोकर रात में खाना चाहिए। रात में सोते समय सूरजमुखी और अलसी के बीजों को भिगोकर सो जाएं। सुबह जब उठें तो इन्हें चबा-चबाकर खाएं और ये पानी पी जाएं। इसके अलावा आप ये भी कर सकते हैं कि इन बीजों को पानी सहित दरदरा करके जूस बना लें और इसे पी लें। आप ये काम सुबह खाली पेट करें और हफ्ते में 3 दिन या 2 हफ्तों तक लगातार करें। ऐसा करना शुगर कंट्रोल करने और फिर इंसुलिन सेल्स को तेज करने में मदद कर सकता है। तो, अगर आपको डायबिटीज है तो इन दो बीजों का सेवन जरूर करें।