अहमदाबाद: गुजरात हाई कोर्ट ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की एकेडमिक डिग्री के बारे में जानकारी देने के लिए गुजरात यूनिवर्सिटी को केंद्रीय सूचना आयोग द्वारा दिए गए निर्देश को रद्द करने के एकल पीठ के आदेश के खिलाफ दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की अपील पर सुनवाई गुरुवार को स्थगित कर दी है। जानकारी दे दें कि मामले की सुनवाई चीफ जस्टिस सुनीता अग्रवाल और जस्टिस अनिरुद्ध पी. माई की बेंच कर रही है। बेंच ने इस मामले की सुनवाई को अगले नववर्ष यानी 11 जनवरी 2024 तक के लिए स्थगित कर दिया।
अभिषेक सिंघवी की वजह से टली सुनवाई
गुजरात हाई कोर्ट ने पीएम डिग्री मामले में CIC का आदेश रद्द करने के खिलाफ केजरीवाल की अपील पर सुनवाई स्थगित कर दी है। बेंच ने इसलिए स्थगित की क्योंकि मामले में मुख्यमंत्री केजरीवाल का प्रतिनिधित्व करने वाले सीनियर वकील अभिषेक सिंघवी नेटवर्क समस्या के कारण वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए जुड़ नहीं पा रहे थे। इसके बाद चीफ जस्टिस ने सुनवाई को अगली तारीख यानी 11 जनवरी तक स्थगित कर दिया। इसकी जानकारी खुद के एक वकील ने दी है।
सॉलिसिटर जनरल ने व्यक्त की नाराजगी
केजरीवाल के एक वकील ने कहा कि मामले में सीएम का प्रतिनिधित्व करने वाले सीनियर वकील अभिषेक सिंघवी नेटवर्क समस्या के कारण वीडियो कॉन्फ्रेंस के जरिए जुड़ नहीं पा रहे थे इसलिए ये सुनवाई अगली तारीख तक स्थगित कर दी गई है। प्रतिवादियों की ओर से पेश हुए सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने अंतिम समय में इस तरह का अनुरोध किए जाने पर नाखुशी व्यक्त की। हालांकि, बाद में उन्होंने सहमति जताई। जस्टिस अग्रवाल ने कहा कि कोर्ट केजरीवाल के विलंब को माफ करने के लिए दायर आवेदन पर फैसला 11 जनवरी को उनकी मौजूदा अपील के साथ ही करेगी। बता दें कि आवेदन को पहले गुरुवार को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया गया था।
क्या था मामला
गौरतलब है कि गुजरात यूनिवर्सिटी ने केंद्रीय सूचना आयोग के उस आदेश को गुजरात हाईकोर्ट में चुनौती दी थी, जिसमें आयोग ने पीएम मोदी की डिग्री देने का निर्देश दिया था। चुनौती याचिका में यूनिवर्सिटी ने दलील दी थी कि गुजरात यूनिवर्सिटी को इस तरह का आदेश देने का आयोग को कोई अधिकार नहीं है। अत: ये आदेश रद्द किया जाए।
(इनपुट- पीटीआई)
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