गुजरात: पिछले साल हुए मोरबी केबल पुल हादसा मामले में आरोपी ओरेवा ग्रुप के प्रबंधक निदेशक जयसुख पटेल की जमानत याचिका का गुजरात सरकार ने बुधवार को विरोध किया और कहा कि इस मामले में वह मुख्य आरोपी है। गौरतलब है कि ब्रिटिश शासनकाल में बने इस पुल की देखभाल और मरम्मत आदि की जिम्मेदारी ओरेवा ग्रुप की थी। यह केबल पुल 30 अक्टूबर, 2022 को टूट गया और इस हादसे में 135 लोगों की मौत हो गई जबकि 56 लोग गंभीर रूप से घायल हो गए।
तीन वीक पहले ग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी थी
ओरेवा ग्रुप के प्रबंधक निदेशक जयसुख पटेल ने प्रधान जिला और सत्र न्यायाधीश पीसी जोशी की अदालत में जमानत याचिका दायर की है। गौरतलब है कि इसी अदलत ने करीब तीन सप्ताह पहले पटेल की अग्रिम जमानत याचिका खारिज कर दी थी। लोक अभियोजक एसके वोरा ने बताया कि दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद अदालत ने फैसला शुक्रवार के लिए सुरक्षित रख लिया।
जांच में आई थी ये बात सामने
आपको बता दें कि पिछले साल 30 अक्टूबर, 2022 को मोरबी पुल हादस में 100 से ज्यादा लोगों ने अपनी जान गंवाई थी। इसी मामले में मोरबी पुलिस ने ओरेवा ग्रुप के प्रबंध निदेशक जयसुख पटेल सहित दस आरोपियों को भारतीय दंड संहिता की विभिन्न धाराओं के तहत 304, 308, 336, 337 और 338 के तहत अरेस्ट किया था। हादसे की जांच के लिए बनाई गई टीम ने अपनी जांच में रिपोर्ट में पुल की मरम्मत, रखरखाव और संचालन में कई खामियां पाईं थी।