Saturday, November 02, 2024
Advertisement
  1. Hindi News
  2. गुजरात
  3. कोर्ट ने NEET मामले में गिरफ्तार गोधरा के 4 आरोपियों को CBI कस्टडी में भेजा, खुलेंगे कई बड़े राज!

कोर्ट ने NEET मामले में गिरफ्तार गोधरा के 4 आरोपियों को CBI कस्टडी में भेजा, खुलेंगे कई बड़े राज!

गुजरात के पंचमहल जिसे में स्थित गोधरा में 5 मई को NEET-UG परीक्षा में अनियमितताओं में कथित रूप से शामिल आरोपियों में से 4 को अदालत ने सीबीआई की हिरासत में भेज दिया है।

Reported By : Nirnay Kapoor Edited By : Vineet Kumar Singh Published on: June 29, 2024 19:06 IST
NEET UG Godhra, NEET UG Godhra Case, NEET UG Godhra CBI- India TV Hindi
Image Source : PIXABAY REPRESENTATIONAL गुजरात की एक अदालत ने गोधरा केस में अरेस्ट 4 आरोपियों को सीबीआई हिरासत में भेज दिया।

गोधरा: गुजरात के गोधरा में 5 मई को NEET-UG परीक्षा में अनियमितताओं में कथित रूप से शामिल रहने के मामले में कोर्ट ने शनिवार को आरोपियों को 4 दिनों की CBI हिरासत में भेज दिया। बता दें कि सीबीआई ने पंचमहल जिले के गोधरा में हुई अनियमितताओं में कथित रूप से शामिल रहने के मामले में गुजरात पुलिस द्वारा गिरफ्तार 5 लोगों में से 4 लोगों की रिमांड की अपील की थी जिसे कोर्ट ने मंजूर कर लिया। माना जा रहा है कि आरोपियों तुषार भट्ट, विभोर आनंद, आरिफ वोरा और पुरूषोत्तम शर्मा से पूछताछ में बड़े खुलासे हो सकते हैं।

CBI ने मांगी थी 5 में से 4 आरोपियों की रिमांड

इससे पहले CBI के वकील ध्रुव मलिक ने जिला अदालत को सूचित किया था कि गुजरात पुलिस ने पहले जांच की है, लेकिन एजेंसी को इन आरोपियों को हिरासत में लेने की जरूरत है क्योंकि वह नये सिरे से जांच कर रही है। गुजरात पुलिस ने 8 मई और उसके बाद वाले सप्ताह में जिन 5 लोगों को गिरफ्तार किया था, उनमें से स्कूल शिक्षक तुषार भट्ट, जय जालाराम स्कूल के प्राचार्य पुरुषोत्तम शर्मा तथा बिचौलियों विभोर आनंद और आरिफ वोहरा की रिमांड की CBI मांग कर रही थी। CBI ने शिक्षा सलाहकार परशुराम रॉय की रिमांड की मांग नहीं की। सभी पांचों लोग गोधरा उपजेल में बंद थे।

जज ने रिमांड आवेदन पर जताई थी आशंका

बता दें कि पंचमहल के प्रधान जिला न्यायाधीश सीके चौहान ने CBI की रिमांड आवेदन पर आशंका व्यक्त करते हुए कहा था कि पुलिस या जांच एजेंसियां ​​गिरफ्तारी के बाद शुरुआती 15 दिनों से अधिक किसी आरोपी की हिरासत की मांग नहीं कर सकतीं। उन्होंने CBI बनाम अनुपम कुलकर्णी मामले में सुप्रीम कोर्ट के 1992 के फैसले का हवाला देते हुए कहा कि गिरफ्तारी के 15 दिन बीत जाने के बाद नई रिमांड तभी दी जा सकती है, जब आरोपी उस अवधि के दौरान अस्पताल में भर्ती था या उसने शुरुआती रिमांड के दौरान सहयोग नहीं किया।

CBI के वकील ने दी थी जोरदार दलील

हालांकि CBI के वकील मलिक ने दलील दी थी कि यदि जज को उचित लगे तो गिरफ्तारी के पहले 15 दिन से अधिक रिमांड दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 167 के तहत दी जा सकती है। मलिक ने अदालत को सूचित किया था कि सीबीआई गुजरात, राजस्थान, बिहार, दिल्ली तथा झारखंड में बड़ी साजिश की जांच कर रही है। माना जा रहा है कि अब रिमांड मिलने के बाद सीबीआई की पूछताछ में इस मामले की कई परतें खुल सकती हैं।

India TV पर हिंदी में ब्रेकिंग न्यूज़ Hindi News देश-विदेश की ताजा खबर, लाइव न्यूज अपडेट और स्‍पेशल स्‍टोरी पढ़ें और अपने आप को रखें अप-टू-डेट। News in Hindi के लिए क्लिक करें गुजरात सेक्‍शन

Advertisement
Advertisement
Advertisement