World Rabies Day: भारत में पिछले कई महीनों में कुत्ता काटने के ज्यादा मामले सामने आए हैं। इतना ही नहीं कुछ मामलों में कुत्ता काटने के बाद रेबीज होने की घटना भी सामने आई है। दरअसल, ज्यादातर लोगों को रेबीज वायरस के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं है। ऐसा इसलिए कि ये एक ऐसा वायरस है जो कि काटते ही अपने लक्षण नहीं दिखाता है। इस वायरस के लक्षण जानवर के काटने के 3 दिन से लेकर 3 महीने तक में सामने आ सकते हैं। इसके अलावा भी इस बीमारी के बारे में बहुत कुछ है जो कि आम लोगों को जरूर जानना चाहिए। जानते हैं इन तमाम चीजों के बारे में विस्तार से।
रेबीज क्या है-What is rabies
रेबीज जानवरों से इंसानों में फैलने वाली एक गंभीर बीमारी है। ये RNA-Virus रेबीज लाइसावायरस (rabies lyssavirus) से जुड़ा है जो कि जोनोटिक बीमारियों का कारण बनता है। ये वायरस केंद्रीय तंत्रिका तंत्र पर हमला करती है, जिससे शरीर में लकवा मार सकता है, मानसिक स्थिति खराब हो सकती है और अंत में आपकी मौत हो सकती है। ये वायरस जानवर की लार में मौजूद होता है और मुख्य रूप से जानवरों के काटने से फैलता है। कई बार खुले घावों, खरोंच और टिशूज के संपर्क में आकर भी ये समस्या बढ़ सकती है।
कौन से जानवरों से रेबीज फैल सकता है-Rabies caused by which animals
रेबीज कुत्ता काटने के अलावा कई जानवरों की वजह से भी फैल सकता है। सभी गर्म खून वाले जानवर इस वायरस से प्रभावित हो सकते हैं, लेकिन यह अक्सर रैकून, बंदर, लोमड़ी और चमगादड़ जैसे वन्यजीवों में पाया जाता है। कई बार ये बिल्लियों के काटने से भी फैलता है। इतना ही नहीं, चूहों, गिलहरियों, चिपमंक्स, गिनी सूअरों, हैम्स्टर या खरगोश का काटना भी इस बीमारी का कारण बन सकता है।
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जानवरों में रेबीज के लक्षण-Symptoms of Animal Rabies
किसी जानवर के व्यवहार में इस प्रकार के बदलाव आए तो समझ जाएं कि वो रेबीज से प्रभावित हैं और उनसे दूरी बनाएं।
-जानवर का पागल होना और अजीब गतिविधियां करना।
-अचानक लोगों पर हमला कर देना या काट लेना।
-मरने के लिए किसी सुनसान जगह की तलाश करना।
मनुष्यों में रेबीज के लक्षण क्या हैं-Rabies symptoms in humans in hindi
मनुष्यों में रेबीज के कई लक्षण नजर आ सकते हैं। जैसे कि
-बुखार आना
-सिरदर्द होना
-घबराहट या बेचैनी होना
-चिंता और व्याकुलता
-भ्रम की स्थिति में रहना
-इसके अलावा पानी से डर लगना, पागलपन के लक्षण व अनिद्रा की समस्या रैबीज के लक्षण हो सकते हैं।
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रेबीज से बचाव के उपाय-Rabies prevention tips
रेबीज से बचाव के लिए सबसे पहले तो अगर आपने घर में कुत्ता पाला है, बिल्ली पाली है या खरगोश रखा है तो,जिस भी प्रकार का जानवर हो डॉक्ट से पूछकर इन्हें रेबीज का टीका लगवाएं। टीके की पूरी डोज याद से दिलवाएं। ये तो थी बात घर के जानवरों की। लेकिन, अगर आपको घर के बाहर के जानवर काटते हैं तो सबसे पहले लक्षणों को लेकर सतर्क रहें और काटने के कुछ देर बाद ही इन चीजों को फॉलो करें।
-सबसे पहले डिसइंफेक्टेंट से अपने घाव को धोएं।
-ठंडा पानी से लगातार घाव धोएं।
-घाव पर अच्छे से साफ पट्टी बांध दें और फिर तुरंत नजदीकी डॉक्टर को दिखाएं।
-इसके बाद 24 घंटे के अंदर ही रेबीज का इंजेक्शन लें।
ध्यान रहे कि रेबीज के 5 इंजेक्शन लगते हैं। पहले इंजेक्शन लगने के तीसरे दिन दूसरा इंजेक्शन लगता है। फिर सातवें दिन और उसके बाद 14वें दिन और अंत में 29वे दिन इंजेक्शन लगता है। तो, इन बातों का ध्यान रखें और रेबीज से अपना बचाव करें।