Sunday, December 22, 2024
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Mere Pyare prime Minister Movie Review: छोटी फिल्म जो उठाती है एक बड़ा सामाजिक मुद्दा

मेरे प्यारे प्राइम मिनिस्टर मूवी रिव्यु: सामाजिक मुद्दे पर बनी फिल्म मेरे प्यारे प्राइम मिनिस्टर आज रिलीज हो गई है। जानिए कैसी है यह फिल्म।

Diksha Chhabra
Updated : March 15, 2019 14:55 IST
Mere Pyare Prime Minister Review
Photo: INSTAGRAM

Mere Pyare Prime Minister Review

  • फिल्म रिव्यू: Mere Pyare prime Minister
  • स्टार रेटिंग: 3 / 5
  • पर्दे पर: Mar 15.2019
  • डायरेक्टर: राकेश ओमप्रकाश मेहरा
  • शैली: ड्रामा

आजकल बॉलीवुड में सामाजिक मुद्दों के लेकर कई फिल्में बनने लगी हैं। यह फिल्में लोगों का ध्यान उन मुद्दों पर डालती है जिनके बारे में लोग ध्यान देते नहीं या देना नहीं चाहते हैं। डायरेक्टर राकेश ओमप्रकाश मेहरा(rakesh Om Prakash Mehra) ने एक ऐसे ही सामाजिक मुद्दे पर फिल्म बनाई है। राकेश ओमप्रकाश मेहरा इससे पहले 'भाग मिल्खा भाग', 'रंग दे बसंती' जैसी कई फिल्में डायरेक्ट कर चुके हैं।इस बार उन्होंने महिलाओं की सुरक्षा पर ध्यान देने के लिए 'मेरे प्यारे प्राइम मिनिस्टर'(Mere Pyare Prime Minister) फिल्म बनाई है। यह फिल्म खुले में शौच की समस्या के ऊपर बनाई गई है। जिसमें महिलाओं की सुरक्षा पर ध्यान खींचा गया है।

कहानी:

फिल्म की कहानी मुंबई के गांधी नगर की झुर्गियों की है। जहां बस्ती में कई लोग रहते हैं मगर उनकी बस्ती में एक भी शौचालय नहीं है।  यहीं बस्ती में कन्नू(ओम कनोजिया) अपनी मां सरगम(अंजलि पाटिल) के साथ रहता है। जहां उसकी मां सिलाई का काम करती है और कन्नू अखबार बेचने का काम करता है। फिल्म में कन्नू के कुछ दोस्त भी दिखाए गए हैं जिनके साथ वह खेलता और काम दोनों करता है। खुले में शौच जाने की वजह से सरगम का बलात्कार हो जाता है जिसके बाद से कन्नू ठान लेता है कि उसे अपनी मां के लिए एक शौचालय बनवाना है। इसके लिए  देश के प्रधानमंत्री को चिट्ठी लिखता है और उनसे मिलने के लिए मुंबई से दिल्ली तक चक्कर लगा आता है। कहानी में स्लम एरिया में एक-दूसरे का ध्यान रखना और प्यार को बखूबी से दिखाया गया है।

एक्टिंग:
फिल्म की स्टारकास्ट इतनी बड़ी नहीं है मगर हर एक एक्टर ने अपने किरदार में जान डाल दी है। बच्चों की एक्टिंग उनका स्लम में रहने के बाद भी स्वैग कहानी को जानदार बना देता है। फिल्म में तीनों बच्चों की एक्टिंग काबिल-ए-तारीफ है। तीनों की एक्टिंग दमदार है और फिल्म को बेहतर बना देती है।

डायरेक्शन:
राकेश ओमप्रकाश मेहरा ने हर फिल्म की तरह इस फिल्म में ही बहुत अच्छा डायरेक्शन किया है। कहानी को बखूबी बताया गया है। कहीं भी आपको कुछ छूटा हुआ महसूस नहीं होता है।

म्यूजिक:
फिल्म का म्यूजिक शंकर-एहसान-लॉय ने दिया है। इसमें आपको रेखा भारद्वाज, अरिजीत सिंह के गाए गाने सुनने को मिलेगें। फिल्म का म्यूजिक अच्छा है।

क्यों देखें:
यह एक सामाजिक मुद्दे पर बनी फिल्म है जिसपर सभी की नजर पड़ना जरूरी होता है। बच्चों की एक्टिंग बहुत शानदार है। इस फिल्म को आप फैमिली के साथ देख सकते हैं। 

इंडिया टीवी इस फिल्म को 5 में से 3 स्टार देता है।

फिल्म का ट्रेलर:

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