- फिल्म रिव्यू: फिल्म अमर सिंह चमकीला
- स्टार रेटिंग: 4 / 5
- पर्दे पर: April 12, 2024
- डायरेक्टर: Imitiaz Ali
- शैली: Biographical Drama
नेटफ्लिक्स पर 'अमर सिंह चमकीला' रिलीज हो चुकी है। शानदार बायोपिक्स में से एक 'अमर सिंह चमकीला' की कहानी और स्टार कास्ट बहुत ही दमदार है। दिलजीत दोसांझ को अमर सिंह चमकीला और परिणीति चोपड़ा को उनकी पत्नी और स्टेज पार्टनर अमरजोत कौर के किरदार में देख आप स्टार्स की तारीफ करने से खुद को रोक नहीं पाएंगे। कहानी थोड़ी समझने में मुश्किल हो सकती है क्योंकि कहानी उनकी किस्मत से शुरू होती है और कहानी बाद में पूरी तरह उलट जाती है। इस बार इम्तियाज अली एक बिल्कुल नए अनुभव के साथ आए हैं क्योंकि उन्होंने पहली बार कोई बायोपिक बनाई है और इस फिल्म को परफेक्ट बनाने के लिए जी जान लगा दी। उनकी दूसरी फिल्मों की तरह, चमकीला भी आपके दिमाग में एक अमिट छाप छोड़ जाएगी। कई सवाल उठेंगे और एक दर्शक के रूप में फिल्म खत्म होने के बाद आपको सारे सवालों के जवाब खुद मिल जाएंगे। ये फिल्म पंजाब के कंट्रोवर्शियल सिंगर अमर सिंह चमकीला की बायोपिक है। इस फिल्म में दिलजीत दोसांझ ने अपनी लाइफ का सबसे अच्छा काम है। इसकी वजह उनका सिंगर के साथ-साथ एक अच्छा अभिनेता होना है। परिणीति चोपड़ा ने अपनी दमदार एक्टिंग से लोगों का दिल जीत लिया। अमरजोत कौर के किरदार को बहुत अच्छे से निभाया, जिसकी सराहना की जानी चाहिए।
कहानी
'अमर सिंह चमकीला' की शुरुआत चमकीला और अमरजोत दोनों की गोली मारकर हत्या से होती है जब वे एक शादी में गाना गा रहे थे। देखने को मिलता है कि शादी बीच में ही रूक जाती है और हर कोई अपनी जान बचाने के लिए भागने लगता है। यह कहानी चमकीला के शव को पुलिस स्टेशन ले जाने से होती है और उन्हें यह बताने के साथ आगे बढ़ती है कि कैसे अमर सिंह चमकीला बने।
फिल्म मेकर इस बात का ध्यान रखा है कि कैसे दर्शकों को अपनी ओर खीचना है, जिसे वह चमकीला देखे और उसका आनंद ले। दिलजीत एक युवा लड़के के किरदार में दिखाते हैं कि गायक बनने के लिए कितनी मेहनत करनी होती हैं। प्रदर्शन करने और बिना किसी उम्मीद के सिर्फ परफॉर्म करने में लीन दिख रहे एक्टर का काम देख आपको याद ही नहीं रहेगा कि ये फिल्म है सबकुछ रियलिस्टिक लगता है। इस फिल्म की कहानी को इस तरह से पेशा किया है कि इसमें कोई कमी नहीं हैं। फिल्म ही नहीं इसकी स्टार कास्ट ने भी दर्शकों का दिल जीते में कोई कसर नहीं छोड़ी है। इम्तियाज अली ने फिल्म में अमर सिंह चमकीला के जीवन की हर घटनाएं बहुत ही सरल और अच्छे तारीके से पेश की है। कहानी में चमकीला बाद में अपने स्टेज पार्टनर अमरजोत से मिलता है और जल्दबाजी में हुई शादी के बाद, उनकी जोड़ी अटूट हो जाती है। चमकीला अब एक फेमस गायिका बन गया है, लेकिन वह जानलेवा धमकियों से भी घिर जाता है। फिल्म तब और भी गंभीर हो जाती है जब कपल ऐसा रास्ता चुनता है जिसकी उनके बहुत बड़ी कीमत चुकानी होती है।
डायरेक्शन
'लव आज कल 2' और 'जब हैरी मेट सेजल' जैसी फिल्मों के साथ काफी आलोचना के बाद, इम्तियाज अली ने धमाकेदार वापसी की है। फिल्म निर्माता ने इस फिल्म की कहानी को बहुत अच्छे से पेश करने की कोशिश की करता है। इम्तियाज अली ने चमकीला और रहमान के गानों का बेहतरीन तरीके से इस्तेमाल किया है। हालांकि, एनिमेटेड सीन कुछ जगहों पर थोड़े अजीब लग सकते हैं, लेकिन दिलजीत दोसांझ और परिणीति का शानदार काम काफी सराहनीय रहा है है।
इम्तियाज अली ने परिणीति चोपड़ा को वह सिंगर टैग भी दिया है जो वह हमेशा से चाहती थीं। दिलजीत दोसांझ ने डायलॉग नहीं अपने गानों से लोगों का दिल जीत लिया। चमकीला बने दिलजीत ने इम्तियाज की राइटिंग की वजह से और भी बेहतर काम किया है। फिल्म निर्माता ने बेहतरीन कास्टिंग भी की है क्योंकि जब स्क्रीन पर किरदार दिखाई देते हैं तो पता चलता है कि कितनी मेहनत लगी है।
स्टार कास्ट की एक्टिंग
नाम से पता चलता है कि अमर सिंह चमकीला की कहानी उनके जीवन के इर्द-गिर्द घूमती है। अभिनय और गायन के सही मिक्स अप के साथ अभिनेता ने सचमुच पूरी फिल्म को शानदार बना दिया। दिलजीत दोसांझ-परिणीति चोपड़ा ने जबरदस्त एक्टिंग की है। दिलजीत ने गायकी में अपना नाम कमाया है लेकिन इस बार अपनी एक्टिंग से दिल जीता है। परिणीति चोपड़ा ने अमरजोत कौर का रोल बहुत ही शानदार तारीके से पेश किया है। दोनों के काम से ही पता चलता है कि उन्होंने फिल्म के लिए कड़ी मेहनत की है।
संगीत
अमर सिंह चमकीला एक संगीतमय फिल्म है। इसके हर गाने ने फिल्ममें धूम मचा दी है। संगीतकार एआर रहमान ने अपने काम से फिल्म में अलग-अलग वाइब सीन के अनुसार क्रिएट किए हैं। हिंदी और पंजाबी गाने भी हैं। इम्तियाज की फिल्म के हर सीन के अनुसार गाने एकदम फिट हैं। 'इश्क मिटाए' और 'विदा करो', 'तू क्या जाने', 'एक कमतर' जैसे शानदार गाने पेश किए हैं।
ऐसी थी अमर सिंह चमकीला
'अमर सिंह चमकीला' जरूर देखना चाहिए। ये एक ऐसी फिल्म जो एक उभरते कलाकार के जीवन की कहानी गहराई से बताती है। फिल्म में आदर्श जीवन साथी की कहानी पेश की गई है और साथ ही इस फिल्म में कपल को साथ में सफलता का मजा लेने को मिला। इतना ही नहीं बल्कि दोनों साथ में दुनिया को अलविदा कहते हैं। 'छम्मर हूं पर भूखा तो नहीं मारूंगा' और 'मैंने बनाया है चमकीले को' जैसे डायलॉग दर्शकों को खूब पसंद आए हैं।
फिल्म कुल मिलकर देखने लायक है। पंजाब में दंगों से लेकर उनके संगीत प्रेम तक, पंजाब में बढ़ते आतंकवाद से लेकर कलाकारों के बीच दुश्मनी तक सबकुछ देखने को मिला है। हालांकि फिल्म में अमरजोत के किरदार के साथ जुड़ाव बनाने में कमी लग सकती है, लेकिन चमकीला एक हिट किरदार है। इस किरदार को दिलजीत ने इतनी खूबसूरती से निभाया है कि आप खड़े होकर कलाकार के लिए ताली बजाना चाहेंगे।