आमिर खान अपनी शानदार फिल्मों के लिए जाने जाते हैं। उन्होंने दंगल, रंग दे बसंती, लगान से लेकर पीके जैसी बेहतरीन फिल्में की हैं। आमिर अपनी फिल्मों में परफेक्शन के लिए भी जाने जाते हैं। जब दिलचस्प कहानी की बात आती है तो बॉलीवुड में वह अब्बल नंबर पर आते हैं। जहां उनकी फिल्में दर्शकों को बांधे रखती हैं, वहीं वे विभिन्न राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय प्लेटफार्मों पर भी प्रभाव पैदा करती हैं। आमिर खान की 'लगान' और 'तारे जमीन पर' जैसी फिल्मों ने ऑस्कर में भी एंट्री की थी और अब आमिर खान प्रोडक्शंस द्वारा निर्मित किरण राव के निर्देशन में बनी 'लापता लेडीज' ने भी ऑस्कर में एंट्री की है। पितृसत्ता पर हल्का-फुल्का व्यंग्य 'लापता लेडीज' को 29 फिल्मों की सूची से चुना गया था, जिसमें बॉलीवुड हिट 'एनिमल', मलयालम राष्ट्रीय पुरस्कार विजेता 'अट्टम' और कान्स विजेता 'ऑल वी इमेजिन ऐज़ लाइट' शामिल हैं।
किरण राव को दी बधाई
आमिर खान प्रोडक्शंस के प्रोडक्शन में बनी 'लापता लेडीज' को ऑस्कर में एंट्री मिलने पर आमिर खान बेहद खुश हैं। मिस्टर परफेक्शनिस्ट ने फिल्म की ऑस्कर एंट्री पर खुशी जाहिर की और साथ ही साथ एक्स वाइफ और लापता लेडीज की निर्देशक किरण राव को धन्यवाद भी दिया। उन्होंने कहा- 'हम सभी इस खबर से बहुत खुश हैं। मुझे किरण और उनकी पूरी टीम पर बहुत गर्व है। मैं चयन को धन्यवाद देना चाहता हूं।'
आगे क्या बोले आमिर खान?
आमिर खान ने आगे कहा- 'फिल्म फेडरेशन ऑफ इंडिया की समिति, जिसने ऑस्कर में भारत का प्रतिनिधित्व करने के लिए हमारी फिल्म को चुना, हमारे दर्शकों, हमारे मीडिया और पूरी फिल्म बिरादरी को मेरे द्वारा दिए गए प्यार और समर्थन के लिए हार्दिक धन्यवाद जियो और नेटफ्लिक्स जिनके साथ काम करना बहुत अच्छा रहा है। मैं बहुत खुश हूं कि हमारी सारी मेहनत सफल रही। उम्मीद है कि लापता लेडीज अकादमी के सदस्यों का दिल जीत सकेंगी।"
आमिर खान की आने वाली फिल्में
आमिर खान की अगली फिल्म सितारे जमीन पर की घोषणा के बाद से ही दर्शकों को इसका बेसब्री से इंतजार है। फिल्म में वह जेनेलिया देशमुख और दर्शील सफारी के साथ दिखाई देंगे। फिल्म का निर्देशन आरएस प्रसन्ना करेंगे। आमिर खान को अपने आगामी प्रोडक्शन के लिए एक और दिलचस्प कहानी के साथ वापस लौटते देख दर्शक बेहद खुश हैं। 'सितारे जमीन' पर डाउन सिंड्रोम पर केंद्रित होगी। आमिर खान को उम्मीद है कि यह फिल्म इस बीमारी से पीड़ित लोगों के सामने आने वाली बाधाओं को सूक्ष्मता से चित्रित करके डाउन सिंड्रोम के बारे में एक बहस छेड़ेगी।