नई दिल्ली: उच्चतम न्यायालय ने शुक्रवार को सलमान खान से जुड़े 2002 के हिट एंड रन मामले में घायल एक व्यक्ति की याचिका खारिज कर दी जिसमें बंबई उच्च न्यायालय द्वारा सलमान को बरी करने के फैसले को चुनौती दी गई थी। न्यायमूर्ति जेएस खेहर और न्यायमूर्ति डीवाई चंद्रचूड़ की पीठ ने याचिकाकर्ता एम नियामत शेख और उनके परिवार द्वारा दायर वह याचिका खारिज कर दी जिसमें उच्च न्यायालय के फैसले को निरस्त करने और सलमान तथा महाराष्ट्र सरकार को मुआवजा देने का निर्देश देने का अनुरोध किया गया था।
पीठ ने कहा, मामला हमारे सामने है। महाराष्ट्र राज्य की अपील हमारे सामने पहले ही मौजूद है। शेख की ओर से पेश वकील शिव कुमार त्रिपाठी ने जब कहा कि पीड़ित को कोई मुआवजा नहीं मिला, तो पीठ ने जवाब दिया कि उसके लिए अपील दायर करना उपचार नहीं है। घायल व्यक्ति द्वारा दायर विशेष अनुमति याचिका (एसएलपी) में दावा किया गया था कि उच्च न्यायालय ने पुलिस और निचली अदालत के सामने याचिकाकर्ता के बयान के संबंध में मजबूत बिन्दुओं को नजरअंदाज करके सलमान को गलत तरीके से बरी किया। निचली अदालत ने सलमान को पांच साल की सजा सुनाई थी।
महाराष्ट्र सरकार सलमान को बरी करने के फैसले को चुनौती और निचली अदालत के फैसले को बहाल करने का अनुरोध कर चुकी है। उच्च न्यायालय ने पिछले साल 10 दिसंबर को अपने फैसले में कहा था कि अभियोजन तार्किक संदेह से परे यह साबित करने में नाकाम रहा कि दुर्घटना के समय अभिनेता कार चला रहे थे और नशे में थे।