अभिनेता प्रतीक बब्बर को हिंदी फिल्म इंडस्ट्री में एक दशक से अधिक समय हो गया है। वह इस सफर को बहुत उतार चढ़ाव से भरी एक घटनापूर्ण यात्रा कहते हैं।
प्रतीक ने 2008 में रोमांटिक फिल्म 'जाने तू या जाने ना' के साथ बॉलीवुड में अपनी शुरूआत की थी। इसके बाद उन्हें 'धोबी घाट', 'आरक्षण', 'एक दीवाना था', 'बागी 2', 'मुल्क', 'छिछोरे' और 'मुंबई सागा' जैसी फिल्मों में देखा गया।
बॉलीवुड में अपनी 13 साल की यात्रा के बारे में बात करते हुए प्रतीक ने आईएएनएस को बताया, "यह सफर एक रोलरकोस्टर राइड की तरह रहा है। बहुत सारे उतार चढ़ाव आए, लेकिन अब तक बहुत कुछ अच्छा भी हुआ है।"
उन्होंने कहा, "हर व्यक्ति की अपनी यात्रा होती है। मेरा सफर काफी घटनापूर्ण रहा है। कुछ लोगों के वजह से मैंने अपने जीवन के कुछ साल गंवा दिए, पर अब कोई पछतावा नहीं है।"
राजनेता और अभिनेता राज बब्बर और दिवंगत दिग्गज स्टार स्मिता पाटिल के बेटे प्रतीक अपनी आगामी यात्रा को लेकर उत्साहित हैं।
उन्होंने कहा, "यह मेरी यात्रा का हिस्सा है और मैं वह व्यक्ति बन रहा हूं जो मैं हूं। यह एक बहुत ही महत्वपूर्ण यात्रा रही है और मैं इसके बाकी हिस्सों की प्रतीक्षा कर रहा हूं।"
(इनपुट-आईएएनएस)