बॉलीवुड का दूसरा नाम स्टारडम होता है। लोग माया नगरी मुंबई में एक्टर बनने का सपना लेकर आते तो हैं लेकिन उनमें कहीं न कहीं मशहूर होने की भी ललक रहती है। क्योंकि ऐसा ज्यादातर देखा गया है कि बॉलीवुड में जो भी कलाकार काम करता है उस पर स्टार का तमगा लग जाता है। मगर ये एक अधूरी सच्चाई है। बॉलीवुड या यूं कहें मुंबई के कलाकारों की जमात में ऐसे कई कलाकार हैं जिन्हें मशहूर होने का लालच नहीं है, वे केवल अपने काम को खुद की तारीफ बताना चाहते है। ये कलाकार आपको हर दूसरी या तीसरी फिल्म में दिख जाएंगे, इनकी एक्टिंग भी दर्शकों पसंद आएगी मगर किसी बड़े नाम से रसूख रखने वाले स्टार के आगे दर्शक इन्हें दूसरे पल में ही भुला देंगे। ऐसे कलाकारों की एक पूरी लिस्ट है जिन्हें सिर्फ अपना काम प्यारा लगता है, लाइमटाइम में रहने की चकाचौंध नहीं।
नीरज काबी
इन कलाकारों की लिस्ट में पहला नाम नीजर काबी का है। इन दिनों खास तौर मशहूर एक विधा - वेब सीरीज में नीरज काबी कुछ वक्त से नजर आ रहे हैं। 'सेक्रेड गेम्स' में घाघ पुलिस ऑफिसर 'पारुलकर' का किरदार हो या 'पाताल लोक' में मशहूर पत्रकार 'संजीव मेहरा' का, हम यहां नीरज के उन किरदारों की बात कर रहे हैं, जिस सीरीज को लोगों की पहुंच हासिल थी। इसके अवाला नीरज 'ताजमहल 1898' में फिलॉसफी के प्रोफेसर के रूप में, 'संविधान' सीरीज में महात्मा गांधी के रूप में भी लोगों के सामने नजर आए हैं और बेहद उम्दा काम किया। इसके अलावा भी नीरज 'शिप ऑफ थीसिस' और 'डिटेक्टिव ब्योमकेश बक्शी' में भी अहम किरदार निभा चुके हैं।
के के मेनन
के के मेनन, हाल के दिनों में डिज्नी प्लस हॉटस्टार की वेब 'स्पेशल ऑप्स' में नजर आए थे। के के मेनन की फिल्मों की बात करें तो ये लंबी लिस्ट है - 'हैदर', 'ब्लैक फ्राइडे' और 'सौर्या' जैसी फिल्मों में वह नजर आए उनकी एक्टिंग को सराहा भी गया मगर बंबईया अभिनेता की तरह नहीं बल्कि एक ऐसे वर्सिटाइल एक्टर की तरह जिसके काम की तारीफ सिर्फ एक औपचारिकता हो जाती है।
संजय मिश्रा
संजय मिश्रा को उनके शुरुआती दौर में कई टीवी शो को होस्ट करते हुए देखा गया था। वह दूरदर्शन पर कभी फिल्मी गानों को दिखाते नजर आए तो साल 1999 में क्रिकेट विश्व कर के दौरान 'एपल सिंह' के किरदार में नजर आए और कुछ दिनों तक कुछ लोगों के जेहन में रहे। रोहित शेट्टी और रजत कपूर की फिल्मों में उन्हें कई रोल तो मिले लेकिन उनकी मास्टरपीस 'आंखों देखी' का इंतजार उनके अपने करियर को भी था। आज संजय मिश्रा की किसी तारीफ के मोहताज नहीं हैं और अपने अभिनय से बॉलीवुड सिनेमा को रोशन कर रहे हैं।
विक्रांत मेस्सी
विक्रांत मेस्सी इंटरनेट के आम हो जाने के बाद लोगों में अपनी खास पहचान बना पाए। हालांकि, इंटरनेट उनके काम, उनके अभिनय में किसी तरह की जिम्मेदारी नहीं निभाता लेकिन लोगों के बीच उनके नाम का प्रचार इंटरनेट के जरिए संभव हुआ है। वर्ना इससे पहले विक्रांत को उनके किरदार से जाना जाता था, कभी टीवी सीरियल 'बालिका वधू' में 'सुगना' के पति के तौर पर तो कभी सीरियल 'बाबा ऐसो वर ढूंढो' एक छोटी कद की लड़की के प्रेमी और पति के तौर पर। टीवी सीरियल से अपने एक्टिंग करियर की शुरुआत कर आज नामी वेब सीरीज का हिस्सा रहे विक्रांत मेस्सी के काम से उनको आंके तो उन्हें शायद ही एक कलाकार के बदले सिल्वर स्क्रीन का एक्शन हीरो कलवाना पसंद होगा।
विजय राज
विजय राज को आपने कभी 'पेटीकोट वाले बाबा' के किरदार में देखा होगा तो कभी एक सिरफिरे शायर के तौर पर 'डेढ़ इश्किया' में विलेन के रूप में देखा होगा। उनकी आवाज वॉइस ओवर के तौर किसी फिल्म का नरेशन करती है तो किसी एड फिल्म का सूरते हाल बताती है। बिना किसी तारीफ की लालसा लिए एक कलाकार के तौर वह दिन रात लोगों का मनोरंजन करने के लिए मेहनत कर रहे हैं।