Rajasthan Election Results 2018: वसुंधरा राजे राजस्थान में हर पांच साल में सरकार बदलने वाली मिथक तोड़ पाने में नाकाम रहीं। शुरुआती रुझानों में राजस्थान में कांग्रेस की सरकार बनती दिख रही है। वहीं कांग्रेस ने जबर्दस्त प्रदर्शन करते हुए वापसी की है। इस तरह राहुल गांधी की पार्टी ने 5 साल बाद भारतीय जनता पार्टी को सूबे की सत्ता से बेदखल करती हुई दिख रही है। माना जा रहा है कि कांग्रेस नेताओं की एकजुटता के साथ-साथ किसानों और युवाओं की नाराजगी, जैसे मुद्दे भाजपा की तैयारियों पर भारी पड़ गए।
यूं जीत की नाव पर सवार हुई कांग्रेस
माना जा रहा है कि वसुंधरा सरकार को युवाओं और किसानों की नाराजगी भारी पड़ गई। यह सही है कि वसुंधरा सरकार ने राजस्थान में इंफ्रास्ट्रक्चर के क्षेत्र में काफी सुधार किया था, लेकिन किसानों और बेरोजगारों की नाराजगी को दूर करने के लिए पर्याप्त कदम नहीं उठा पाई थी। कांग्रेस इन सभी मुद्दों को भुनाने में कामयाब रही और उसने भगवा पार्टी को मात देकर 5 सालों से चला आ रहा अपना वनवास खत्म कर दिया।
'मुख्यमंत्री का फैसला राहुल करेंगे'
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अशोक गहलोत ने दावा किया कि उनकी पार्टी को पूर्ण बहुमत मिलेगा और मुख्यमंत्री का फैसला पार्टी अध्यक्ष राहुल गांधी करेंगे। उन्होंने जीत का श्रेय कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी को दिया।
'यह जीत राहुल गांधी के लिए तोहफा'
वहीं राजस्थान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष सचिन पायलट ने कहा, ‘‘राहुल गांधी एक साल पहले आज ही के दिन अध्यक्ष बने थे। यह जीत तोहफा है।’’ यह पूछे जाने पर कि क्या वह मुख्यमंत्री बनने जा रहे हैं तो उन्होंने कहा, ‘‘मुख्यमंत्री के बारे में फैसला कांग्रेस नेतृत्व, राहुल गांधी और विधायक करेंगे।’’ पायलट ने कहा कि राजस्थान में कांग्रेस के सभी नेता मिलकर लड़े और जीत में भूमिका निभाई।
2013 से लगातार लहरा रहा था भगवा
कांग्रेस प्रदेश में 2013 से सत्ता से बाहर थी। कई बार माना गया कि इसके लिए अन्य मुद्दों के साथ-साथ कांग्रेस नेताओं की आपसी सिर-फुटौव्वल भी जिम्मेदार है। यही वजह है कि इस बार कांग्रेस के सभी बड़े नेता एकजुट दिखाई दिए, और अंत में उन्हें इसका फल भी मिला।
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