Highlights
- कैराना विधानसभा सीट पर मुख्य मुकाबला भारतीय जनता पार्टी और समाजवादी पार्टी में माना जा रहा है।
- बीएसपी ने राजेंद्र सिंह उपाध्याय को मैदान में उतारा है जबकि कांग्रेस के टिकट पर हाजी अखलाक ताल ठोक रहे हैं।
- पिछले चुनावों में नाहिद हसन को 98830 वोट मिले थे जबकि मृगांका सिंह को 77668 लोगों ने अपना समर्थन दिया था।
कैराना: उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों के लिए बिगुल बज चुका है और सभी प्रमुख राजनीतिक दल चुनाव प्रचार के काम में व्यस्त हैं। शामली जिले में पड़ने वाली कैराना विधानसभा सीट पर चुनावों के पहले चरण में 10 फरवरी को मतदान होना है। मीडिया में अक्सर चर्चा में रहने वाली कैराना विधानसभा सीट पर मुख्य मुकाबला भारतीय जनता पार्टी और समाजवादी पार्टी में माना जा रहा है।
कैराना से भारतीय जनता पार्टी ने जहां एक बार फिर दिवंगत हुकुम सिंह की बेटी मृगांका सिंह को उम्मीदवार बनाया है, वहीं गठबंधन की तरफ से समाजवादी पार्टी के नाहिद हसन मैदान में हैं। बता दें कि नाहिद हसन इस समय जेल में हैं और चुनाव प्रचार की कमान उनकी बहन एवं अन्य कार्यकर्ताओं ने संभाल रखी है। बहुजन समाज पार्टी ने राजेंद्र सिंह उपाध्याय को मैदान में उतारा है जबकि कांग्रेस के टिकट पर हाजी अखलाक ताल ठोक रहे हैं।
2017 के विधानसभा चुनावों की बात करें तो समाजवादी पार्टी के प्रत्याशी नाहिद हसन ने बीजेपी की उम्मीदवार मृगांका सिंह को 20 हजार से भी ज्यादा मतों के अंतर से पराजित किया था। उन चुनावों में नाहिद हसन को 98830 वोट मिले थे जबकि मृगांका सिंह के लिए 77668 लोगों ने वोटों के जरिए अपना समर्थन दिया था। राष्ट्रीय लोकदल के प्रत्याशी अनिल कुमार 19992 मतों के साथ तीसरे और बीएसपी के दिवाकर देशवाल 6888 वोट लेकर चौथे स्थान पर थे।