नई दिल्ली। भारत निर्वाचन आयोग ने गुरुवार को भाजपा नेता शुभेंदु अधिकारी को बीते 29 मार्च को दिए गए भाषण पर आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन करने के आरोप में नोटिस जारी किया है। चुनाव आयोग ने शुभेंदु अधिकारी को नोटिस का 24 घंटे में स्पष्टीकरण देने को कहा है। बता दें कि, ममता बनर्जी के कभी खास रहे शुभेंदु अधिकारी ने चुनाव के कुछ समय पहले ही टीएमसी छोड़कर बीजेपी ज्वाइन की है। पश्चिम बंगाल की सबसे हॉट सीट नंदीग्राम से सीधे ममता बनर्जी को टक्कर दे रहे हैं। पश्चिम बंगाल में 3 चरणों का चुनाव हो चुका है जबकि 5 चरणों का मतदान होना अभी बाकी है।
चुनाव आयोग के नोटिस में कहा गया है कि भाकपा (माले) की केंद्रीय समिति की सदस्य कविता कृष्णन की तरफ से शिकायत आई है जिसमें आरोप लगाया है कि 29 मार्च को अधिकारी ने नंदीग्राम में एक जनसभा को संबोधित करने के दौरान ‘नफरत भरा भाषण’ दिया।
आयोग ने आदर्श आचार संहित के दो प्रावधानों का हवाला दिया। एक प्रावधान में कहा गया है कि दूसरे राजनीतिक दलों की आलोचना उनकी नीतियों और कार्यक्रमों, अतीत के रिकॉर्ड और काम तक सीमित होगी। दूसरों दलों या उनके कार्यकर्ताओं की आलोचना असत्यापित आरोपों या मनगढ़ंत आरोपों के आधार पर करने से बचा जाएगा।
दूसरे प्रावधान में स्पष्ट है कि वोट हासिल करने के लिए जाति या सांप्रदाय के आधार कोई अपील नहीं की जाएगी। नोटिस में कहा गया है कि चुनाव आयोग ने पाया है कि आदर्श आचार संहिता के कुछ प्रावधानों का उल्लंघन हुआ है।
निर्वाचन आयोग ने पश्चिम बंगाल में एक बूथ पर पुनर्मतदान का आदेश दिया
निर्वाचन आयोग ने गुरुवार (8 अप्रैल) को पश्चिम बंगाल में हुगली जिले के जंगीपारा विधानसभा क्षेत्र में एक बूथ पर पुनर्मतदान का आदेश दिया। पुनर्मतदान का आदेश राजनीतिक दलों के इस आरोप के बाद दिया गया कि तृणमूल कांग्रेस ने ऐसे एजेंट लगा रखे थे जिन्होंने तृणमूल कांग्रेस के पक्ष में मतदान कराने में मदद की।
निर्वाचन आयोग के एक अधिकारी ने बताया कि शिकायतों पर चुनाव अधिकारी और पर्यवेक्षक की रिपोर्ट के बाद संबंधित बूथ पर पुनर्मतदान का आदेश दिया गया है जहां अब 10 अप्रैल को सुबह सात बजे से शाम साढ़े छह बजे तक दोबारा वोअ डाले जाएंगे।
जंगीपारा विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र में चुनाव के तीसरे चरण में छह अप्रैल को मतदान हुआ था। संबंधित बूथ पर पुनर्मतदान राज्य में चौथे चरण के मतदान के साथ होगा। जंगीपारा से भाजपा उम्मीदवार देबजीत सरकार ने निर्वाचन आयोग के इस कदम का स्वागत किया है। वहीं, तृणमूल कांग्रेस के उम्मीदवार स्नेहाशीष चक्रवर्ती ने कहा कि पुनर्मतदान ‘‘पूरी तरह अनावश्यक’’ है।