चंडीगढ़: हरियाणा में विधानसभा चुनावों के लिए पर्चा दाखिल करने की आखिरी तारीख सोमवार को समाप्त हो जाने के बाद प्रदेश में चुनावी संघर्ष की रेखायें खिंच गयी है। कुछ राजनीतिक दलों के बागी उम्मीदवार अब भी मैदान में डटे हुए हैं जिनमें रेवाडी के विधायक रणधीर काप्रिवास हैं जिन्हें भाजपा ने दोबारा टिकट नहीं दिया है।
उन्होंने सोमवार को कहा कि वह निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर चुनाव लड़ रहे हैं। हालांकि, गुड़गांव में भाजपा को राहत मिली है और मौजूदा विधायक उमेश अग्रवाल की पत्नी अनीता अग्रवाल ने पर्चा वापस ले लिया है। पति का टिकट कटने के बाद अनीता ने निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर पर्चा दाखिल किया था।
प्रदेश चुनाव में कई राजनीतिक दल मैदान में हैं लेकिन मुख्य मुकाबला सत्तारूढ़ भाजपा और मुख्य विपक्षी कांग्रेस के बीच है। प्रदेश में 90 सदस्यीय विधानसभा के लिए 21 अक्टूबर को मतदान कराया जाएगा जबकि 24 अक्टूबर को मतों की गिनती होगी।