गुवाहाटी: असम के मुख्य चुनाव अधिकारी (सीईओ) नितिन खाड़े ने शनिवार को कहा कि असम में तीन चरणों में होने जा रहे विधानसभा चुनाव में 1.08 लाख संदेहपूर्ण मतदाताओं को मतदान करने की अनुमति नहीं होगी। बता दें कि पिछले साल विधानसभा में उपलब्ध कराई गई संदेहपूर्ण मतदाताओं की संख्या 1.13 लाख थी।
राज्य विधानसभा चुनाव के तहत 27 मार्च, एक अप्रैल और छह अप्रैल को मतदान होगा। मतगणना दो मई को होगी। मुख्य निर्वाचन आयुक्त सुनील अरोड़ा ने जनवरी में राज्य के दौरे पर कहा था कि जिन लोगों के नाम राष्ट्रीय नागरिक पंजी (एनआरसी) में नहीं हैं, लेकिन मतदाता सूची में है, वे अपने मताधिकार का इस्तेमाल कर सकते हैं।
संदेहपूर्ण मतदाता वैसे लोग हैं, जिनकी पहचान मतदाता सूची पुनरीक्षण के दौरान ‘डी-वोटर’ के रूप में की गई और जिनके खिलाफ विदेशी नागरिक अधिकरणों में मामले लंबित हैं या जिनहें अधिकरण ने विदेशी घोषित कर दिया है।
नितिन खाड़े ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि केंद्रीय सशस्त्र अर्द्धसैनिक बलों की 40 कंपनियां चुनाव के दौरान तैनात की जाएंगी। उन्होंने कहा कि कुल 2,32,44,454 मतदाता अपने मताधिकार का इस्तेमाल कर सकेंगे।
राजद असम में आगामी विधानसभा चुनाव लड़ेगी: तेजस्वी
राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के नेता तेजस्वी यादव ने शनिवार को कहा कि उनकी पार्टी ‘‘समान विचारधारा’’ वाले दलों के साथ असम में आगामी विधानसभा चुनाव लड़ेगी। तेजस्वी यादव ने गुवाहाटी की अपनी पहली यात्रा के दौरान कहा कि वह पहले ही कांग्रेस असम के प्रमुख रिपुन बोरा से मुलाकात कर चुके हैं और गठबंधन को औपचारिक रूप देने के लिए एआईयूडीएफ के साथ बातचीत करेंगे।
उन्होंने यहां संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘राजद ने अपनी मौजूदगी को बढ़ाने का फैसला किया है। इसलिए, हम असम विधानसभा चुनावों में भाग लेंगे। हम समान विचारधारा वाले दलों से बात कर रहे हैं।’’ बिहार विधानसभा में विपक्ष के नेता यादव ने कहा कि कांग्रेस और लोकसभा सांसद बदरुद्दीन अजमल के नेतृत्व वाले एआईयूडीएफ के अलावा राजद अन्य छोटे दलों के संपर्क में भी है।
(इनपुट- भाषा)