जोरमथांगा मिजोरम के मौजूदा मुख्यमंत्री हैं। वे मिजो नेशनल फ्रंट (एमएनएफ) के प्रमुख भी हैं। जोरमथांगा वर्ष 2018 से आइजोल पूर्व- I विधानसभा क्षेत्र का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं। उन्होंने 2018 के विधानसभा चुनाव में निर्दलीय उम्मीदवार के सपडांगा को 2,504 वोटों से हराकर चुनाव जीता था। जोरमथांगा ने 1987, 1989, 1993, 1998 और 2003 में चम्फाई निर्वाचन क्षेत्र का प्रतिनिधित्व किया। उन्होंने 1998 के विधानसभा चुनाव में ख्वाबुंग और 2003 के विधानसभा चुनावों में कोलासिब विधानसभा सीट से चुनाव जीता था। जोरमथांगा 1998 से 2008 तक दो बार मिजोरम के मुख्यमंत्री भी रहे। वर्ष 2008 में वे चम्फाई उत्तर और चम्फाई दक्षिण, दोनों सीट से चुनाव हार गए थे। 2013 के विधानसभा चुनाव में जोरमथांगा को पूर्वी तुइपुई सीट से कांग्रेस उम्मीदवार टी संगकुंगा ने 798 वोटों से हराया था। जिन दिनों मिजोरम में एमएनएफ का विद्रोह पनप रहा था उन दिनों वे एमएनएफ के सक्रिय सदस्य बन गए और गुरिल्ला आंदोलन में भी शामिल हो गए थे। मिज़ोरम शांति समझौते पर हस्ताक्षर के बाद जोरमथांगा को लालडेंगा मंत्रालय में कैबिनेट मंत्री के तौर पर नियुक्त किया गया था।