नयी दिल्ली: आम आदमी पार्टी (आप) प्रमुख और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को किसी भी मुद्दे पर सार्वजनिक बहस के लिए आमंत्रित करते हुए बुधवार को कहा कि राष्ट्रीय राजधानी के लोग जानना चाहते हैं कि वे आठ फरवरी को होने वाले विधानसभा चुनाव में भाजपा को क्यों वोट दें? केजरीवाल ने हैरानी जताते हुए पूछा कि भाजपा शाहीन बाग के पास सड़कों को क्यों नहीं खुलवा सकी है जहां करीब दो महीने से संशोधित नागरिकता कानून (सीएए) के खिलाफ प्रदर्शन चल रहा है। उन्होंने कहा कि भगवा दल दिल्ली की सत्ता पर काबिज़ होने के लिए ‘गंदी राजनीति’ कर रहा है।
अरविंद केजरीवाल ने कहा कि दिल्लीवासी जानना चाहते हैं कि भाजपा ने राष्ट्रीय राजधानी के लिए पिछले पांच साल में क्या किया? मुख्यमंत्री ने यह भी जानना चाहा कि भाजपा दिल्लीवासियों के लिए मुफ्त योजनाओं का क्यों विरोध कर रही है? उन्होंने कहा कि शाह यह कह कर लोगों से वोट मांग रहे हैं कि वह (शाह) फैसला करेंगे कि दिल्ली का अगला मुख्यमंत्री कौन होगा। ‘आप’ के राष्ट्रीय संयोजक ने कहा, “ दिल्ली के लोग आपको (शाह) को कैसे ब्लैंक चेक दे सकते हैं।” उन्होंने कहा, “ मैं लोकतंत्र को मज़बूत करने के लिए खुले दिमाग और ईमानदारी से अमित शाह जी को दिल्ली के लोगों के सामने किसी भी मुद्दे पर बहस की चुनौती देता हूं। वह बहस के लिए समय और स्थान पर फैसला कर सकते हैं।”
मंगलवार को केजरीवाल ने भाजपा को बुधवार दोपहर एक बजे तक दिल्ली के लिए मुख्यमंत्री पद का उम्मीदवार घोषित करने की चुनौती दी थी और कहा था कि वह लोगों के सामने बहस के लिए तैयार हैं। मुख्यमंत्री ने बुधवार को पत्रकारों से कहा, “ मैं अमित शाह से पूछना चाहता हूं कि अगर उनकी पार्टी मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार का नाम घोषित नहीं करना चाहती है तो वह कम से कम संभावित प्रत्याशियों के नाम ही बता दें। क्या स्मृति ईरानी, मनोज तिवारी, विजय गोयल, हरदीप सिंह पुरी मुख्यमंत्री पद के संभावित उम्मीदवार हैं? ”
उन्होंने कहा, “ आप (शाह) लोगों से कह रहे हैं कि केंद्र ने संविधान के अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधानों को हटा दिया और राम मंदिर निर्माण के लिए मार्ग प्रशस्त किया। लोगों ने इसके लिए आपको (भाजपा को) सत्ता में लाने के लिए (2019 के लोकसभा चुनाव में) वोट दिया था।” केजरीवाल ने कहा कि उनके जैसे छोटे व्यक्ति को हराने के लिए भाजपा ने अपनी पार्टी के शासन वाले 10 राज्यों के मुख्यमंत्रियों और 70 केंद्रीय मंत्रियों को प्रचार के लिए उतारा है। दिल्ली में आठ फरवरी को मतदान है और 11 फरवरी को नतीजे आएंगे।