नई दिल्ली। सोशल मीडिया पर आजकल कई फर्जी खबरें लोग बिना सच्चाई जाने शेयर कर रहे हैं। ताजा मामला स्कूल खुलने और एग्जाम को लेकर भ्रामक तरीके से फैलाए जा रहे वायरल मैसेज का है। सोशल मीडिया पर ब्रेकिंग न्यूज शिक्षा विभाग करके एक मैसेज तेजी से शेयर किया जा रहा है। पीआईबी फैक्ट चेक ने सोशल मीडिया पर वायरल इस मैसेज की सच्चाई ला दी है।
वायरल मैसेज में लिखा है कि 'शिक्षा मंत्री का बयान 21 सितंबर से 9वीं से लेकर 12वीं तक बच्चों के लिए खोल दिए जाएंगे स्कूल, 15 दिन के बाद 6th से लेकर आठवीं तक खोल दिए जाएंगे स्कूल, उसके बाद 15 दिन बाद पहली से लेकर पांचवी तक के स्कूल खुल जाएंगे। साथ ही वायरल मैसेज में ये भी लिखा है कि यूनिवर्सिटी अपने तय करेगी कि एग्जाम कैसे लिया जाए, अगले हफ्ते शुरू हो सकते हैं कॉलेज में एडमिशन प्रक्रिया, 1 अक्टूबर से सभी कॉलेजों में क्लास हो जाएगी शुरू।'
इस वायरल मैसेज को लेकर प्रेस इंफॉर्मेशन ब्यूरो (पीआईबी) की फैक्ट चेक टीम ने हकीकत सामने ला दी है। प्रेस इंफॉर्मेशन ब्यूरो (पीआईबी) फैक्ट चेक में पता चला कि शिक्षा मंत्री ने ऐसा कोई बयान नहीं दिया है। अनलॉक 4.0 गाइडलाइन के अनुसार 9वीं से 12वीं कक्षा के छात्र शिक्षकों से परामर्श के लिए स्कूल जा सकते हैं।
बता दें कि, अनलॉक 4.0 गाइडलाइन के अनुसार 9वीं से 12वीं कक्षा के छात्र शिक्षकों से परामर्श के लिए स्कूल जा सकते हैं। तेजी से बढ़ रहे कोरोना के मामलों को देखते हुए केंद्र सकार ने स्कूल कॉलेज को 30 सितंबर तक बंद रखने के आदेश दिए हैं। अनलॉक 4.0 गाइडलाइन में साफ कहा गया है कि 30 सितंबर तक स्कूल बंद रहेंगे। केन्द्रीय गृह मंत्रालय ने 21 सितंबर से कंटेंनमेंट जोन से बाहर के इलाकों में राज्य सरकार-केंद्र शासित सरकार को 50 प्रतिशत टीचिंग और नॉन टीचिंग स्टाफ को स्कूल बुलाने के लिए छूट दी है। कक्षा 9 से 12 तक के छात्र व्यक्तिगत रूप से टीचर्स से कोर्स से संबंधित सलाह लेने के लिए जाना चाहता है तो वह 21 सितंबर के बाद स्कूल जा सकता है। यह पूरी तरह से स्वैच्छिक है और इसके लिए अभिभावकों से लिखित अनुमति की आवश्यकता होगी।बता दें कि, कोरोना की वजह से देश में मार्च के आखिरी सप्ताह से स्कूल कॉलेज बंद हैं जिसकी वजह से छात्रों की पढ़ाई का बहुत नुकसान हो चुका है और अब हर कोई स्कूल खुलने का इंतजार कर रहा है।
कई फर्जी खबरों का किया जा चुका है खंडन
बता दें कि, इससे पहले फर्जी दावा सामने आया था कि बिजली बिल माफी योजना 2020 के तहत 1 सितंबर से पूरे देश मे सबका बिजली बिल माफ होने जा रहा है। एक फेक न्यूज यह भी सामने आई कि केन्द्र सरकार हर कोविड19 मरीज के लिए हर नगर पालिका को 1.5 लाख रुपये उपलब्ध करा रही है। यह मैसेज वॉट्सऐप पर वायरल हुआ था।
जानिए पीआईबी फैक्ट चेक के बारे में
पीआईबी फैक्ट चेक केन्द्र सरकार की पॉलिसी/स्कीम्स/विभाग/मंत्रालयों को लेकर गलत सूचना को फैलने से रोकने के लिए काम करता है। सरकार से जुड़ी कोई खबर सच है या झूठ, यह जानने के लिए पीआईबी फैक्ट चेक की मदद ली जा सकती है। कोई भी पीआईबी फैक्ट चेक को संदेहात्मक खबर का स्क्रीनशॉट, ट्वीट, फेसबुक पोस्ट या URL वॉट्सऐप नंबर 918799711259 पर भेज सकता है या फिर pibfactcheck@gmail.com पर मेल कर सकता है।