आपने अक्सर देखा होगा कि गवर्नमेंट टीचर सरकारी स्कूलों को बच्चों को प्राइवेट ट्यूशन की राय देते हैं क्योंकि वह वहां पढ़ाते हैं। साथ ही ट्यूशन न करने वालों को वह बार-बार परेशान करते हैं। इसी को लेकर अब केरल सरकार सख्त हो गई है। केरल सरकार ने सरकारी टीचरों को सख्त लहजे में चेतावनी दी है कि जो सरकारी टीचर प्राइवेट ट्यूशन सेंटरों पर काम करते पाए जाएंगे उनपर कड़ी कार्रवाई की जाएगी।
शिक्षा मंत्री ने दी कड़ी चेतावनी
केरल सरकार के सामान्य शिक्षा मंत्री वी शिवनकुट्टी ने बताया कि सरकारी कर्मचारियों के लिए सरकारी पदों पर काम करते हुए समानांतर एक और नौकरी करना नियमों और मानदंडों के खिलाफ है। शिवनकुट्टी ने कहा, "सरकारी स्कूलों के टीचरों को प्राइवेट ट्यूशन सेंटरों में नहीं पढ़ाना चाहिए।" उन्होंने कहा कि राज्य सतर्कता विभाग और सामान्य शिक्षा विभाग की सतर्कता शाखा इस मामले पर बारीकी से नज़र बनाए रखेगी। दोषी पाए जाने वाले टीचरों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।
अभिभावकों को सूचना देने को कहा
मंत्री ने स्कूलों में अभिभावक और शिक्षक संघों (पीटीए) से अनुरोध करते हुए कहा कि वे प्राइवेट ट्यूशन सेंटरों में काम करने वाले किसी भी टीचर की सूचना विभाग को दें। साथ ही इस बात पर भी जोर दिया कि राज्य का सामान्य शिक्षा क्षेत्र समाज के समर्थन से फला-फूला है और इसे आगे भी जारी रखना चाहिए।
पेपर लीक पर दिया जांच का भरोसा
मंत्री ने कक्षा 11 की क्रिसमस परीक्षाओं के प्रश्नपत्रों के हाल ही में लीक होने के बारे में आश्वासन देते हुए कहा कि इसे लेकर एक व्यापक जांच चल रही है। परीक्षा के प्रश्नपत्र के कुछ हिस्से एक यूट्यूब चैनल पर पाए गए और इस पर कड़ी कार्रवाई की जा रही है। शिवनकुट्टी ने यह भी भरोसा दिया कि परीक्षा आयोजित करने में कोई चूक नहीं होगी। उन्होंने कहा कि मौजूदा मुद्दों को सुलझा लिया जाएगा और प्रक्रिया आगे बढ़ेगी। केरल सामान्य शिक्षा विभाग ने कक्षा 11 की क्रिसमस परीक्षाओं के प्रश्नपत्रों के लीक होने की जांच के लिए बीते सोमवार को 6 सदस्यीय समिति का गठन किया।
(पीटीआई इनपुट के साथ)