महाराष्ट्र में कक्षा 1 से लेकर 8वीं तक के छात्रों के बस्ते के बोझ को देखते हुए एक अहम फैसला लिया गया है। राज्य सरकार ने पहली से 8वीं तक के छात्रों के सिलेबस को प्रत्येक सेमेस्टर(साल में चार सेमेस्टर) के लिए एक ही किताब में समाहित कर दिया। यानी साल के चार सेमेस्टर के लिए चार किताबें। सरकार के इस कदम से बच्चों के 6 से 7 किलो के बस्ते का वजन कम होकर सिर्फ 500 ग्राम हो गया है। इस फैसले के बाद महाराष्ट्र में पहली से आठवीं तक के स्कूल के बच्चों के स्कूल बैग में अब सिर्फ एक ही किताब और एक नोटबुक होगी। इससे पहले 7 किताबें ,7 नोटबुक को बच्चे प्रतिदिन स्कूल बैग में लेकर जाते थे स्कूल। किताबों के बोझ से छात्रों को परेशानी होते देखते हुए सरकार ने यह कदम उठाया है।
बच्चों को हो रही परेशानी को देखते हुए उठाया ये कदम
दरअसल, बच्चों के स्कूल बैग के बहुत ज्यादा बोझ को लेकर बच्चों व उनके पालकों की हरदम शिकायत रहती थी कि स्कूल बैग के बोझ को कम करने के लिए कुछ सरल उपाय निकालना चाहिए ताकि बच्चों के कंधे पर स्कूल बैग का बोझ कम हो सके। महाराष्ट्र में 30 जून से नया शैक्षणिक सत्र 2023 24 शुरू हो रहा है। किताबों के बोझ से बच्चों को हो रही परेशानी को देखते हुए सरकार ने छात्रों के बस्ते का बोझ कम किया है। सरकार के इस फैसले के बाद एक ही किताब में सभी विषय होने से स्कूल बैग का बोझ काफी कम हो गया है।
'हर सेमेस्टर के लिए अलग किताब'
बालभारती के भंडार व्यवस्थापक तुषार महाजन ने बताया कि बालभारती को यह पूरी जिम्मेदारी दी गई थी कि 30 तारीख से पहले सभी स्कूलों में इस तरीके की किताबें पहुंच जाए। बाल भारती ने पहली से आठवीं तक के छात्रों के सभी विषयों को एक किताब में समाहित किया है। इस कदम से छात्रों के बस्ते का बोझ बहुत कम हो जाएगा क्योंकि अब केवल एक ही किताब में सारे विषय को समाहित कर दिया गया है। पूरे शिक्षा क्षेत्र को 4 सेमेस्टर में बांटा गया है, फर्स्ट सेमेस्टर के लिए एक किताब बनाई गई है और हर सेमेस्टर में वह एक किताब लेकर जाएगा। जिसमें सभी विषयों का समाहित किया गया है, हर नए सेमेस्टर में वह किताब बदल लेगा।
'चार भागों में दी जाएगी किताबें'
बालभारती के भंडार अधीक्षक मोहम्मद अशफाक ने कहा कि बाल भारती के व्यवस्थापकों ने बताया कि माता-पिता छात्रों के बैग के बोझ से परेशान थे। इस बोझ को कम करने के लिए सरकार के माध्यम से उपाय करने की प्रक्रिया चल रही थी, जिसके मुताबिक अब सभी विषयों को एक पुस्तक में समायोजित कर समाधान निकाला गया है। यह किताबें छात्रों को चार भागों में दी जाएगी, एक किताब में
- मैथमेटिक्स
- एनवायरनमेंट साइंस
- इंग्लिश
- मराठी
- प्ले डू लर्न
सभी विषय को इसमें रखा गया है, स्कूल का पहला सत्र खत्म होगा तो दूसरी किताब उसमें भी इसी तरीके से सभी विषय रहेंगे। एक साल में 4 किताबें हर विद्यार्थी को दी जाएगी, चारों पुस्तक के सत्र शुरू होते ही विद्यार्थियों को दे दी जाएगी, जब विद्यार्थी स्कूल आएगा तो बस्ते में एक किताब और एक नोटबुक लेकर आएगा। जब दूसरा सत्र शुरू होगा तो वह दूसरे सत्र की किताब लेकर आएगा ,एक ही किताब में सभी विषय होने से स्कूल बैग का बोझ काफी कम हो गया है।