नई दिल्ली। युवाओं के लिये अवसरों में वृद्धि के लक्ष्य से सरकार ने सोमवार को प्रशिक्षु अधिनियम में संशोधन और शिक्षा के बाद प्रशिक्षण पाने वालों, स्नातक और अभियांत्रिकी डिप्लोमा धारकों के लिये राष्ट्रीय प्रशिक्षुता प्रशिक्षण योजना में बदलाव का प्रस्ताव रखा । वर्ष 2021- 22 का बजट संसद में पेश करते हुए वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि इस लक्ष्य के लिये 3000 करोड़ रूपये का प्रावधान किया गया है । उन्होंने कहा ,‘‘हमने 2016 में राष्ट्रीय प्रशिक्षुता संवर्धन योजना शुरू की थी । सरकार प्रशिक्षु अधिनियम में संशोधन का प्रस्ताव रखती है ताकि हमारे युवाओं के लिये प्रशिक्षुता के अवसरों में और बढोतरी हो सके ।’’
शिक्षा के बाद प्रशिक्षण पाने वालों, स्नातक और अभियांत्रिकी डिप्लोमा धारकों के लिये राष्ट्रीय प्रशिक्षुता प्रशिक्षण योजना को नये सिरे से तैयार किया जायेगा जिसके लिये 3000 करोड़ रूपये से अधिक रखे गए हैं । वित्त मंत्री ने कहा कि यह पहल संयुक्त अरब अमीरात के साथ साझेदारी में की जा रही है जिसके तहत प्रमाणित कार्यबल के परिनियोजन के साथ कौशल योग्यता का आकलन, समीक्षा और प्रमाणीकरण किया जायेगा ।
वित्त मंत्री ने कहा ,‘‘ हमने भारत और जापान के बीच सहयोगी प्रशिक्षण अंतर प्रशिक्षण कार्यक्रम भी शुरू किया है जिसके तहत जापान के औद्योगिक और व्यावसायिक कौशल , तकनीक और ज्ञान का लाभ लिया जा सकेगा। हम कई देशों के साथ ऐसी पहल शुरू करेंगे ।’’ प्रशिक्षु अधिनियम 1961 में आखिरी बार 2014 में संशोधन किया गया था ।