नई दिल्ली। शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल निशंक ने कोरोनोवायरस ( coronavirus) महामारी के बीच इंजीनियरिंग और मेडिकल पाठ्यक्रमों के लिए अखिल भारतीय परीक्षा आयोजित करने के निर्णय का बचाव किया है। उन्होंने कहा है कि परीक्षा के आयोजन के लिए पैरेंट्स और छात्र लगातार दबाव बना रहे हैं, लोग चाहते हैं कि परीक्षा करवाई जाए। बता दें कि आईआईटी में प्रवेश के लिए संयुक्त प्रवेश परीक्षा (JEE) और मेडिकल कोर्सेज में प्रवेश के लिए राष्ट्रीय पात्रता सह प्रवेश परीक्षा (NEET) अगले महीने आयोजित की जानी है। लेकिन, कोरोना वायरस महामारी के बीच नीट-जेईई की परीक्षाओं को टालने की मांग कई राजनीतिक दलों की तरफ से की जा रही है।
80 प्रतिशत छात्र एडमिट कार्ड डाउनलोड कर चुके हैं'
डीडी न्यूज को दिए एक इंटरव्यू में निशंक ने कहा कि "जेईई के लिए उपस्थित होने वाले 80 प्रतिशत छात्र पहले ही एडमिट कार्ड डाउनलोड कर चुके हैं। हम माता-पिता और छात्रों के लगातार दबाव में हैं, वो पूछ रहे हैं कि हम जेईई और नीट की अनुमति क्यों नहीं दे रहे हैं। छात्र बहुत चिंतित थे। उनके दिमाग में यह चल रहा था कि वे कितने समय तक सिर्फ तैयारी जारी रखेंगे?" निशंक ने कहा कि "जेईई के लिए पंजीकृत 8.58 लाख छात्रों में से 7.25 लाख उम्मीदवारों ने अपने एडमिट कार्ड डाउनलोड कर लिए हैं ... हम छात्रों के साथ हैं। उनकी सुरक्षा पहले हो, फिर उनकी शिक्षा।"
स्कूल खोलने को लेकर कही ये बात
स्कूलों को खोले जाने को लेकर निशंक ने कहा कि गृह मंत्रालय और स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा दिए गए गाइडलाइन्स को ध्यान में रखते हुए स्कूलों को खोला जाएगा कोरोना। वायरस महामारी के खतरे को कम करने के लिए छात्रों को मास्क पहनना होगा हैंड ग्लव्स पहनना होगा और अपनी खुद की पानी की बोतल भी लानी होगी।