लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि शिक्षा क्षेत्र में समानता से ही समरस समाज का सपना साकार होगा। भविष्य की जरूरतों के लिहाज से शिक्षण संस्थानों में और शिक्षा के सभी चरणों में एक सहज एकीकरण और समन्वय होना चाहिए। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने यह बातें गुरुवार को लोकभवन में युवाओं के सशक्तीकरण के लिए पुनर्जागरण नवाचार यू राइज पोर्टल का लोकार्पण करते हुए कहीं। उन्होने कहा कि यू राइज पोर्टल अभिनव है। कहा कि शिक्षा में समानता से समाज समरस होगा। इससे विद्यार्थियों को उनके सीखने की क्षमता के अनुसार विकल्पों को चुनने का अवसर मिलेगा। वे अपनी प्रतिभा और रुचियों के अनुसार सफलता हासिल कर सकेंगे।
यू राइज यानी यूनिफाइड री-इमेजिंड इनोवेशन फॉर स्टूडेंट एमपावरमेन्ट पोर्टल में विद्यार्थी जीवन के सम्पूर्ण चक्र जैसे संस्थान में प्रवेश, शुल्क, शिक्षण, प्रशिक्षण, प्रयोग, परीक्षा इत्यादि के साथ-साथ रोजगार की प्राप्ति तक का पूरा चक्र दर्ज होगा। कोई भी सेवायोजक छात्र के बारे में सारी जानकारी प्राप्त कर सकता है। यह छात्रों के लिए बहुत मददगार साबित होगा। उन्होंने कहा कि यू राइज पोर्टल शिक्षाविदों, सेवायोजकों, शोधार्थियों आदि के सहयोग से लाखों छात्र-छात्राओं के भविष्य निर्माण में अग्रणी भूमिका निभाने में सफल होगा।
विद्यार्थी जीवन के सम्पूर्ण चक्र के विभिन्न स्तरों को यह पोर्टल, उपलब्ध सेवाओं और सूचनाओं के माध्यम से उन्हें सशक्त करेगा। इन सेवाओं में अनलाइन शुल्क, ऑनलाइन परीक्षा, आवश्यकता के अनुसार ऑनलाइन कक्षाएं तथा वेबिनार, डिजिटल प्रश्नपत्र, डिजिटल मूल्यांकन, डिजिटल कन्टेन्ट, ई-लाईब्रेरी, विषय वस्तु पर रिकॉर्डेड वीडियो कन्टेन्ट, उद्योग, प्रशिक्षण, इंटर्नशिप, रोजगार इत्यादि के लिए विशाल नेटवर्क से युक्त यह पोर्टल विद्यार्थी को हर उस रूप से सशक्त कर सकेगा, जैसा विद्यार्थी की इच्छा है। इस पोर्टल के माध्यम से व्यावसायिक एवं तकनीकी शिक्षा प्राप्त कर रहे लगभग 20 लाख विद्यार्थियों को लाभ पहुंचेगा। ई-कंटेंट, ई-लाइब्रेरी, ऑनलाइन कोर्स जैसे प्रयास को सुदूर क्षेत्रों तक गुणवत्तापूर्ण शिक्षा पहुंचा सकेंगे।
योगी आदित्यनाथ ने कहा कि फर्जी शिक्षकों के षड़यंत्र का पर्दाफाश हमने तकनीकी की मदद से ही किया। कोरोना काल खंड में हमने तकनीक की मदद से जनता को अधिकाधिक सुविधा पहुंचाने में सफलता हासिल की है। कोरोना काल में शिक्षा व्यवस्था ऑनलाइन माध्यमों से ही संचालित हो सकी। यह सब तकनीक की मदद से ही संभव हो सका।
लॉचिंग के मौके पर मुख्यमंत्री ने दीनदयाल उपाध्याय गुणवत्ता सुधार कार्यक्रम के दूसरे चरण में 100 करोड़ भी जारी किए। कोविड-19 महामारी के दूरगामी प्रभावों को ध्यान में रखते हुए दीनदयाल उपाध्याय गुणवत्ता सुधार कार्यक्रम के अंतर्गत द्वितीय चरण में जारी यह राशि प्रदेश के विभिन्न तकनीकी संस्थानों में डिजिटल और फिजिकल इन्फ्रा के विकास पर खर्च होगी। इस धनराशि से छात्रावासों का निर्माण, क्लास रूम, लैब, नवनिर्मित भवन के फर्नीचर, पुस्तकालय का विस्तार, ऑनलाइन क्लासेज, स्मार्ट क्लास रूम, वर्चुअल लैब खरीदे जाएंगे।