नई दिल्ली: वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने आज 1 फरवरी को देश का बजट पेश कर दिया है। इस बजट में आम जनमानस को देखते हुए कई लाभकारी योजनाएं शामिल की गई है। वित्त मंत्री ने आम लोगों टैक्स में राहत तो दी है साथ-साथ युवाओं के लिए शिक्षा को मजबूत बनाने पर भी फोकस किया है। वित्त मंत्री ने 2023-24 वित्तीय वर्ष में, केंद्र सरकार ने शिक्षा क्षेत्र में 1.12 लाख करोड़ रुपये से अधिक खर्च करने की योजना बनाई है। अगले वित्तीय वर्ष के लिए शिक्षा मंत्रालय का परिव्यय 1,12,898.97 करोड़ रुपये है, जो चालू वित्त वर्ष के संशोधित अनुमानों से काफी अधिक है। बता दें कि यह मंत्रालय को आवंटित किया गया अब तक का सर्वाधिक बजट भी है।
शिक्षा मंत्रालय के स्कूल शिक्षा और साक्षरता विभाग को 68,804.85 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं, जबकि उच्च शिक्षा विभाग को 44,094.62 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं। बजट दस्तावेजों में वित्तीय वर्ष 2022-23 के संशोधित अनुमानों के अनुसार, चालू वित्त वर्ष के लिए उच्च शिक्षा बजट 40,828.35 है। स्कूल शिक्षा विभाग को 59,052.78 रुपये मिले।
Education Budget 2023 की मुख्य विशेषताएं
वित्त मंत्री ने स्कूल शिक्षा बजट में, केंद्रीय क्षेत्र की योजनाओं/परियोजनाओं के लिए 364.1 करोड़ रुपये दिए हैं, जिसमें शिक्षकों को राष्ट्रीय पुरस्कार, प्रधान मंत्री अभिनव शिक्षण कार्यक्रम (डीएचआरयूवी) और राष्ट्रीय साधन सह योग्यता छात्रवृत्ति योजना शामिल है।
बता दें कि वर्ष 2023-24 के लिए ऑटोनॉमस बॉडी का खर्च 14,391.36 करोड़ रुपये है। इसमें केन्द्रीय विद्यालय संगठन (KVS) के लिए 8,363.98 करोड़ रुपये शामिल हैं। साथ ही नवोदय विद्यालय समिति के लिए 5,486.50 करोड़ रुपये और 518.50 रुपये नेशनल काउंसिल ऑफ एजुकेशनल रिसर्च एंड ट्रेनिंग (NCERT) को दिए गए हैं।
स्कूली शिक्षा पर ज्यादा जोर
शिक्षा बजट का एक बड़ा हिस्सा समग्र शिक्षा के लिए आवंटित किया गया है। सरकार ने देश की सबसे बड़ी स्कूली शिक्षा योजना के लिए 37,453.47 करोड़ रुपये की घोषणा की है। सरकार ने प्रधानमंत्री पोषण शक्ति निर्माण (पीएम पोषण) के तहत 11,600 करोड़ रुपये खर्च करने की योजना बनाई है। बता दें कि पीएम पोषण मिड डे मील की रिप्लेसमेंट है। वहीं, हायर एजुकेशन के लिए बजट में, केंद्र ने पीएम उच्चतर शिक्षा प्रोत्साहन (पीएम-यूएसपी) योजना के लिए 1,554 करोड़ रुपये और पीएम रिसर्च फेलोशिप के लिए 400 करोड़ रुपये अलॉट किए हैं।
डिजिटल इंडिया ई-लर्निंग के लिए दिए 420 करोड़
डिजिटल इंडिया ई-लर्निंग के लिए, सरकार ने 420 करोड़ रुपये आवंटित किए हैं, जो 2022-23 के संशोधित अनुमान से सिर्फ 5 करोड़ अधिक है। जबकि अनुसंधान और नवाचार के लिए कुल व्यय बजट 210.61 करोड़ रुपये है।
वहीं, यूनिवर्सिटी ग्रांट कमीशन (UGC) 5,360 करोड़ रुपये और ऑल इंडिया काउंसिल फॉर टेक्नीकल एजुकेशन (AICTE) को 420 करोड़ रुपये आवंटित किए गए हैं। वहीं, इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (IIT) को 9,661.50 करोड़ रुपये और NIT और IIEST को 4,620 करोड़ रुपये आवंटित किया गया है।