नई दिल्ली। दिल्ली पुलिस कमिश्नर के सेक्रेटरियेट में डीसीपी के तौर पर कार्यरत केपीएस मल्होत्रा को यूनियन होम मिनिस्टर मेडल फॉर एक्सिलेंस इन्वेस्टिगेशन 2021 के तौर पर नवाजा गया है। केपीएस मल्होत्रा दिल्ली पुलिस के अलावा एनसीबी नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो और अंडमान निकोबार में अपनी शानदार सेवाएं दे चुके हैं। टेक्नोलॉजी पर फोकस करते हुए केपीएस मल्होत्रा के नेतृत्व में पहला डार्कनेट वेंडर psychotropic substances, पहला साइबर टेरर केस और espionage केस सुलझाया गया।
केपीएस मल्होत्रा के नेतृत्व में कई हाईप्रोफाइल केस जैसे MoPNG, मिनिस्ट्री ऑफ पैट्रोलियम एंड नेचुरल गैस espionage केस, दिल्ली के स्कूलों में ईडब्ल्यूएस केस घोटाला, नारायण साईं की गिरफ्तारी और अंडरवर्ल्ड से जुड़े कई केस सुलझाए गए हैं।
केपीएस मल्होत्रा ने बॉलीवुड अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत की मौत के मामले में मुंबई में एनसीबी को हेड करके जांच की, इसके अलावा भारत से एक कपल को ड्रग्स की सप्लाई के केस में गलत तरीके से फंसाकर क़तर की जेल में बन्द करवाने वाले मामले में मौजूदा कमिश्नर राकेश अस्थाना जो उस वक्त एनसीबी के डीजी थे, जांच करके उस कपल को बाइज्जत बरी करवाकर वापिस भारत लाए। कतर कपल को रेस्क्यू कराने और डार्कनेट के मामले में केपीएस मल्होत्रा को अवार्ड दिया जा रहा है।
सीबीआई के 15 अधिकारी “अन्वेषण में उत्कृष्टता के लिये गृहमंत्री का पदक’’ पुरस्कार से सम्मानित
झारखंड के न्यायाधीश उत्तम आनंद की मौत की जांच करने वाले केन्द्रीय अन्वेषण ब्यूरो (सीबीआई) के अधिकारी वी के शुक्ला एजेंसी के उन 15 अधिकारियों की सूची में शामिल हैं, जिन्हें 2021 में “अन्वेषण में उत्कृष्टता के लिये गृहमंत्री का पदक” प्रदान किया गया है। अधिकारियों ने बृहस्पतिवार को यह जानकारी दी। विजय कुमार शुक्ला सीबीआई की विशेष अपराध शाखा में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक के पद पर तैनात हैं।
न्यायाधीश की मौत के अलावा सथानकुलम पुलिस थाना में एक पिता और पुत्र की हिरासत में हत्या जैसे अन्य सनसनीखेज मामलों की जांच कर चुके हैं। इसके अलावा जम्मू-कश्मीर पुलिस के अधिकारी की पत्नी नेहा कुमारी की मौत की जांच करने वाले पुलिस उपाधीक्षक शाम दत्त, बैंक धोखाधड़ी मामलों की जांच करने वाले कौशल किशोर सिंह और आय से अधिक संपत्ति के मामलों की जांच करने वाले राजेन्द्र सिंह गुसाईं समेत सीबीआई के कुल 15 अधिकारियों को गृह मंत्री के पदक से सम्मानित किया।
पर्दी समुदाय की लापता महिला की तलाश की जांच का नेतृत्व करने वाले पुलिस उपाधीक्षक अतुल हलेजा, आईआरएस अधिकारी के खिलाफ 40 लाख रुपये रिश्वत लेने का मामला दर्ज करने वाले महर्षि रे और भिंड जिले में एक नाबालिग लड़की के अपहरण की जांच करने वाले आशुतोष कुमार को भी “अन्वेषण में उत्कृष्टता के लिये गृहमंत्री का पदक” से सम्मानित किया गया।
केन्द्रीय गृह मंत्रालय की ओर से इस पदक की शुरुआत 2018 में की गई थी और इसका उद्देश्य था विभिन्न राज्यों की पुलिस के अलावा केन्द्रीय जांच एजेंसियों द्वारा अपराधों की जांच में उच्च प्रोफेशनल मानकों को प्रोत्साहित करना तथा उत्कृष्ट अन्वेषण करने वाले जांच अधिकारियों की मेहनत को सम्मानित करना है।