नई दिल्ली : राजधानी दिल्ली के विवेक विहार बेबी केयर अस्पताल में हुए अग्निकांड के मामले में पुलिस ने बड़ा खुलासा किया है। यह अस्पताल अवैध तरीके से चल रहा था। जांच में पता चला कि इस अस्पताल का लाइसेंस 31 मार्च को ही एक्सपायर हो गया था। अस्पताल में आग जैसे हादसों से निपटने के लिए फायर न तो extinguisher, और न ही कोई इमरजेंसी गेट पाया गया।
डॉक्टरों के पास बीएएमएस की डिग्री
जांच में पाया गया कि इस अस्पताल में सिर्फ 5 बेड की क्षमता थी जबकि 10 बेड लगाए गए थे। पुलिस ने एफआईआर में दो धाराएं 304 और 308 जोड़ी हैं। बेबी केयर अस्पताल के डायरेक्टर नवीन और एक डॉक्टर आकाश को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। जांच में यह भी पाया गया कि नवजात शिशुओं का इलाज कर रहे डॉक्टर योग्य और सक्षम नहीं थे। क्योंकि इन डॉक्टरों के पास बीएएमएस की डिग्री थी।
'बेबी केयर न्यू बोर्न चाइल्ड हॉस्पिटल' की 4 शाखाएं
'बेबी केयर न्यू बोर्न चाइल्ड हॉस्पिटल' की 4 शाखाएं हैं 1.विवेक विहार, दिल्ली, 2.पंजाबी बाग, दिल्ली, 3.फरीदाबाद और 4.गुड़गांव में हैं। अस्पताल के मालिक डॉ. नवीन खिची पुत्र उम्मेद सिंह खिची निवासी 258, भेरा एन्क्लेव, पचिम विहार, दिल्ली के रहने वाले हैं। डॉ. नवीन खिची बाल चिकित्सा में एमडी हैं। वह और उनकी पत्नी डॉ. जागृति (दंत चिकित्सक) उस अस्पताल को चला रहे हैं। आग लगने का संभावित कारण शॉर्ट सर्किट बताया जा रहा है।
मजिस्ट्रेट जांच का आदेश
दिल्ली सरकार ने मजिस्ट्रेट जांच का आदेश दिया है। डिविजनल कमिश्नर अश्विनी कुमार ने शाहदरा जिले के जिला मजिस्ट्रेट को शनिवार रात हुई घटना की जांच का निर्देश दिया। आदेश में कहा गया है, “जिला मजिस्ट्रेट (शाहदरा) एवं जिला आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के अध्यक्ष को आग लगने की उक्त घटना की जांच करने का निर्देश दिया जाता है। आदेश में कहा गया है कि जितनी जल्दी हो सके, जांच रिपोर्ट पेश की जाए। शनिवार को हुए अग्निकांड में सात शिशुओं की मौत हो गई थी।