दिल्ली: राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में अगल महीने 9 और 10 तारीख को जी20 शिखर सम्मेलन आयोजित होने वाली है। ये सम्मेलन भारत के लिए काफी अहम है। इसको ध्यान में रखते हुए पूरी तैयारी की जा रही है। पूरी दिल्ली को दुल्हन की तरह सजाया जा रहा है। सभी तरफ साफ-सफाई की जा रही है। इस बैठक में परोसे जाने वाले खाने का मेन्यू भी तय कर लिया गया है।
शाकाहारी होंगे सभी व्यंजन
सितंबर में 9 और दस तारीख को जी20 सम्मेलन आयोजित होना है। इसमें किसी भी तरह की समस्या ना हो, इसके लिए सभी तैयारियां पहले ही की जा रही है। इसी बीच मेहमानों को परोसे जाने वाले खाने का भी मेन्यू भी सामने आ गया है। उस मेन्यू में खाने के सभी व्यंजनों को शाकाहारी रखा जाएगा। इसके लिए दिल्ली के मौर्य शेरेटन होटल के विशेष शेफ को दायित्व दिया गया है। होटल के शेफ खाने के व्यंजनों को लेकर खास तैयारी कर रहे हैं।
सम्मेलन से पहले का कार्यक्रम
अगले महीने शुरू होने वाले जी20 सम्मेलन से पहले सभी राष्ट्रीय अध्यक्ष राजघाट पहुचेंगे। इसके लिए लोक निर्माण विभाग राजघाट को सजाने के काम में लगा हुआ है। राजघाट चौराहा और इसके आसपास के इलाकों में पेड़-पौधों को लगाकर उन्हें सुंदर बनाने का काम किया जा रहा है। राजघाट का दौरा करने के बाद सभी मेहमान वेन्यू पर वृक्षारोपण भी करेंगे।
सभी राष्ट्रध्यक्षों की पत्नियों के लिए विशेष व्यवस्था
सभी राष्ट्रध्यक्ष के साथ उनकी पत्नियां भी भारत आएंगी। उनके लिए भी दिल्ली में विशेष व्यवस्थाएं की गई हैं। मिली जानकारी के मुताबिक सभी राष्ट्रध्यक्षों की पत्नियां सबसे पहले दिल्ली की नेशनल मॉर्डन आर्ट गैलरी का दौरा करेंगी। इसके बाद वो सभी पूसा स्थित इंडियन एग्रीकल्चर रिसर्च इंस्टीट्यूट भी जाएंगी।
8 से 10 सितंबर तक बंद रहेंगी दुकानें
दिल्ली सरकार द्वारा जारी नोटिस के अनुसार, G-20 शिखर सम्मेलन को ध्यान में रखते हुए नई दिल्ली जिले में सभी दुकानें, वाणिज्यिक और व्यावसायिक प्रतिष्ठानों को 8 सितंबर से 10 सितंबर तक बंद रखने का फैसला लिया गया है। इस दौरान सभी कर्मचारियों या श्रमिकों को पेड हॉलिडे दिया जाएगा।
G-20 शिखर सम्मेलन की जानकारियां
G-20 की स्थापना 1999 में एशियाई वित्तिय संकट के बाद वित्त मंत्रियों और केंद्रीय बैंक के गवर्नरों के लिए वैश्विक आर्थिक और वित्तीय मुद्दों पर चर्चा करने के लिए एक मंच के रूप में की गई थी। 2007 के वैश्विक आर्थिक और वित्तीय संकट के मद्देनजर इसे सरकार के प्रमुखों के स्तर तक उन्नत किया गया। साल 2009 में इसे अंतर्राष्ट्रीय आर्थिक सहयोग के लिए प्रमुख मंच नामित किया गया था।
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