नयी दिल्ली। शिक्षा निदेशालय (डीओई) ने सोमवार को स्पष्ट किया कि यहां 9वीं से 12वीं कक्षाओं के विद्यार्थियों को कक्षाओं या परीक्षाओं के लिए स्कूल नहीं बुलाया जाना चाहिए। दिल्ली सरकार ने पिछले शुक्रवार को यही घोषणा की थी। हालांकि दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण के शनिवार रात को जारी एक आदेश में इसके विपरीत घोषणा की गयी जिसके बाद विभाग को स्पष्टीकरण जारी करना पड़ा।
डीओई ने एक आधिकारिक आदेश में कहा, ‘‘स्पष्ट किया जाता है कि कक्षा 9 से 12 के किसी भी छात्र को परीक्षाओं, प्रायोगिक कक्षाओं या अन्य किसी शैक्षणिक एवं गैर-शैक्षणिक गतिविधि के लिए प्रत्यक्ष रूप से स्कूल नहीं बुलाया जाना चाहिए।’’ राष्ट्रीय राजधानी में कोविड-19 के मामलों में बढ़ोतरी के बाद यह फैसला किया गया। कक्षा 10वीं और 12वीं के छात्र मई-जून में प्रस्तावित बोर्ड परीक्षाओं को या तो निरस्त करने या ऑनलाइन तरीके से करने की मांग कर रहे हैं। हालांकि केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) और भारतीय विद्यालय प्रमाणपत्र परीक्षा परिषद, दोनों ने ही इस बाबत कोई निर्णय नहीं लिया है।
24 घंटे में सामने आए 11 हजार से ज्यादा नए मामले
दिल्ली में पिछले 24 घंटों में कोरोना के अबतक के सबसे ज्यादा मामले दर्ज किए गए हैं। दिल्ली में पिछले 24 घंटे में कोरोना के 11,491 नए मामले सामने आए हैं जबकि 72 और मरीजों की मौत दर्ज की गई है। दिल्ली में कोरोना सक्रिय मामलों की संख्या 38095 हो गई है। दिल्ली में कोरोना के अबतक कुल 7,36,688 मामले सामने आ चुके हैं। दिल्ली में अभी 19354 लोगों को होम आइसोलेशन में रखा गया है। वहीं दिल्ली में अबतक कुल 687238 लोग कोरोना को मात देकर ठीक हो चुके हैं। दिल्ली में अभी कुल 6175 कंटेनमेंट जोन बनाए गए हैं। राजधानी दिल्ली में कोरोना की संक्रमण दर भी बढ़कर 12.44 फीसदी पहुंच गई है।
नवरात्रि के दौरान दिल्ली के मंदिरों में दर्शन की सीमित सुविधाएं
कोविड-19 के मामले तेजी से बढ़ने के बीच दिल्ली के कुछ प्रमुख मंदिरों ने श्रद्धालुओं के लिए सीमित दर्शन सुविधाएं प्रदान करने और ई-पास जारी करने का फैसला किया है तो तथा कुछ मंदिर मंगलवार से शुरू हो रहे नौ दिन के पर्व में भक्तों के लिए बंद रहेंगे। दिल्ली में छतरपुर, कालकाजी और झंडेवालान समेत कुछ देवी मंदिरों में नवरात्रि के दौरान श्रद्धालु बड़ी संख्या में दर्शन करने आते हैं। हालांकि इस वर्ष मंदिरों ने या तो सीमित तरीके से दर्शन की सुविधा उपलब्ध कराने का या कुछ मंदिर प्रबंधनों ने नौ दिन तक बंद रखने का फैसला किया है।सरकार ने कोरोना वायरस के मौजूदा हालात को देखते हुए पिछले सप्ताह सभी धार्मिक कार्यक्रमों पर रोक लगा दी थी। इसी क्रम में कालकाजी मंदिर में दर्शन के लिए श्रद्धालुओं को मंदिर की वेबसाइट से ई-पास डाउनलोड करना होगा। मंदिर के एक प्रवक्ता ने कहा कि इससे मंदिर प्रबंधन को भीड़ को नियंत्रित करने में मदद मिलेगी।
मंदिर के महंत सुरेंद्रनाथ अवधूत ने कहा कि श्रद्धालुओं से मंदिर में आने से पहले कोविड-19 की जांच कराने का अनुरोध किया गया है और 60 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों को नहीं आने की सलाह दी जा रही है। झंडेवालान मंदिर इस नवरात्रि में बंद रहेगा। मंदिर के महासचिव कुलभूषण आहूजा ने कहा कि भक्तों के लिए मंदिर प्रबंधन सोशल मीडिया पर समस्त पूजा-अर्चना विधियों का प्रसारण करेगा। उन्होंने कहा कि मंदिर में सुबह और शाम पूजा की जाएगी और यूट्यूब पेज पर इसका प्रसारण किया जाएगा।