Highlights
- बसों की बढ़ती जरूरत को देखते हुए लिया गया फैसला
- वर्तमान में 7,200 से ज्यादा है पब्लिक ट्रांसपोर्ट बसें
- शहर में 11,000 बसों की है जरूरत
Delhi News: दिल्ली परिवहन निगम (DTC) ने यहां पब्लिक ट्रांसपोर्टेशन के लिए अपने बेड़े की बढ़ती मांग को देखते हुए नए एकेडमिक सेशन से शहर के स्कूलों को बसें उपलब्ध कराना बंद कर दिया है। अधिकारियों ने बुधवार को इसकी जानकारी दी है। परिवहन विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि परिवहन विभाग और DTC के वरिष्ठ अधिकारियों ने यात्रियों के लिए बसों की बढ़ती जरूरत को ध्यान में रखते हुए यह निर्णय लिया है।
DTC दे रही थी 350 बसें
उन्होंने आगे कहा कि स्कूलों को इस बाबत पहले से सूचित किया गया है। अधिकारी ने कहा, "DTC बच्चों को ले जाने के लिए अपनी 350 से अधिक बसें स्कूलों को उपलब्ध करा रही है। अब बसें वापस ले ली गई हैं और दिव्यांग बच्चों की सुविधा के मद्देनजर कुछ स्कूलों को केवल 8-10 बसें उपलब्ध कराई गई हैं।" अधिकारी ने कहा कि सरकार पब्लिक ट्रांसपोर्टेशन के लिए पर्याप्त संख्या में बसें उपलब्ध कराने पर ध्यान केंद्रित कर रही है।
कई परिवार कर रहे फाइनेंशियल प्रॉब्लम्स का सामना
इस बीच, स्कूलों और अभिभावकों ने DTC के फैसले का विरोध किया है। निजी गैर-सहायता प्राप्त स्कूलों की कार्य समिति के महासचिव भारत अरोड़ा ने कहा कि इसके कई संबद्ध स्कूल छात्रों को लाने-ले जाने के लिए DTC बसों पर निर्भर हैं। अरोड़ा ने आगे कहा, "हमने दिल्ली सरकार से निजी स्कूलों के लिए DTC बस सर्विस को प्रियरिटी के आधार पर बहाल करने की रिक्वेस्ट की है। यह एक चैलेंजिंग सिचुएशन है क्योंकि स्कूलों के पास नई बसें खरीदने के लिए एक्सट्रा पैसे नहीं है।"
दिल्ली अभिभावक संघ की अध्यक्ष अपराजिता गौतम ने कहा, "यह दिल्ली सरकार का अच्छा कदम नहीं है। पहले से ही कोरोना के कारण कई परिवार फाइनेंशियल प्रॉब्लम्स का सामना कर रहे हैं और ऐसे समय में DTC द्वारा स्कूलों से बसें हटाने के फैसले से उन पर और अधिक फाइनेंशियल बोझ पड़ेगा।"
बसों की कमी के बारे में स्कूलों को किया गया था इन्फॉर्म
अधिकारियों ने कहा कि स्कूलों को पिछले साल सितंबर और फिर जनवरी में बसों की कमी के बारे में फिर से सूचित किया गया था और उनसे वैकल्पिक व्यवस्था करने का आग्रह किया गया। इस फैसले का स्कूलों और अभिभावकों ने विरोध किया था। स्कूलों ने डीटीसी के फैसले पर सवाल उठाते हुए इसे दिल्ली उच्च न्यायालय में भी चुनौती दी थी। अधिकारियों ने कहा कि सरकार ने स्कूलों को बसें उपलब्ध कराने में असमर्थता के पीछे सार्वजनिक परिवहन की आवश्यकता का हवाला दिया था।
11,000 बसों की है जरूरत
दिल्ली में वर्तमान में 7,200 से ज्यादा पब्लिक ट्रांसपोर्ट बसें हैं, जिनमें DTC की 3,912 और दिल्ली इंटीग्रेटेड मल्टी मॉडल ट्रांजिट सिस्टम (DIMTS) की 3,293 क्लस्टर बसें शामिल हैं। आधिकारिक अनुमान के अनुसार, शहर को अपनी पब्लिक ट्रांसपोर्टेशन की जरूरतों को पूरा करने के लिए 11,000 बसों की जरूरत है।