Delhi News: राजधानी दिल्ली स्थित लालकिले के मैदान में 2 साल के अंतराल के बाद इस साल रामलीला का भव्य आयोजन होगा जिसके लिए 5 करोड़ रुपये का बजट तय किया गया है। कोविड-19 महामारी के चलते पाबंदियों के कारण पिछले दो साल रामलीला का आयोजन नहीं किया गया। यह जानकारी रामलीला आयोजन समिति के आयोजकों ने दी। आयोजकों ने कहा कि कोविड से पहले के समय की तुलना में इस आयोजन के लिए खर्च में 100 प्रतिशत की वृद्धि हुई है, जिससे यह लालकिले पर अब तक की सबसे अधिक बजट वाली रामलीला बन गई है।
लव कुश रामलीला समिति द्वारा 26 सितंबर से 5 अक्टूबर तक लालकिला मैदान में 10 दिवसीय कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा। रामलीला के तहत रामायण के दृश्यों का मंचन किया जाता है जिसमें गीत, कथा, गायन और संवाद शामिल होते हैं। आयोजकों के अनुसार, कोविड महामारी के बाद यह पहली बार होगा जब रामलीला इतने बड़े पैमाने पर होगी। इस साल की रामलीला को जो खास बनाता है, वह है 26 सितंबर से 10-दिवसीय रामलीला से पहले आयोजित होने वाले कार्यक्रम।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जन्मदिन (17 सितंबर) पर एक स्वास्थ्य शिविर भी इन कार्यक्रमों का हिस्सा होगा। आयोजकों ने कहा कि लोगों में बहुत उत्साह और जोश है और इससे दान को बढ़ावा मिला है। लव कुश रामलीला समिति के अध्यक्ष अर्जुन कुमार ने कहा, ‘‘इस साल रामलीला का आयोजन बेहद भव्य स्तर पर किया जा रहा है। कोविड के बाद इसका आयोजन पहली बार इतने बड़े पैमाने पर किया जा रहा है, लोग दान के लिए आगे आ रहे हैं। इस साल बजट 5 करोड़ रुपये का होगा। कोविड से पहले यह 2.5 करोड़ रुपये था। इस लिहाज से इसमें 100 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।’’ कुमार ने कहा, ‘‘इस साल का बजट अधिक है क्योंकि हम बड़े पैमाने पर कार्यक्रम का आयोजन कर रहे हैं और रामलीला के इतर भी कार्यक्रम आयोजित करने जा रहे हैं।’’
समारोह की शुरुआत 17 सितंबर से प्रधानमंत्री के जन्मदिन के मौके पर होगी। एक स्वास्थ्य शिविर का आयोजन किया जाएगा जहां आंखों की जांच और मोतियाबिंद के ऑपरेशन नि:शुल्क किए जाएंगे और दिव्यांगों को मुफ्त कृत्रिम अंग प्रदान किए जाएंगे। कुमार ने कहा कि इस कार्यक्रम में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया शामिल होंगे। उन्होंने कहा, ‘‘मुफ्त दवा दी जाएगी और लोगों को मुफ्त जांच की सुविधा दी जाएगी। बच्चों को बैग दिए जाएंगे और महिलाओं के लिए उपहार भी दिए जाएंगे। यह एक बड़ा आयोजन होगा और हम इसमें हजारों लोगों के शामिल होने की उम्मीद कर रहे हैं।’’ कुमार ने कहा कि 26 सितंबर तक कई अन्य कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे, जब वास्तविक रामलीला शुरू होगी। उन्होंने कहा, ‘‘18 सितंबर को महावीर जयंती मनाई जाएगी जिसके लिए जैन संतों को आमंत्रित किया गया है। यह आयोजन भी बड़े पैमाने पर किया जा रहा है। 21, 22, 24 और 25 सितंबर को और कार्यक्रम होने हैं।’’
आयोजकों ने कहा कि वे रामलीला 2022 को एक भव्य आयोजन बनाना चाहते हैं क्योंकि देश आजादी के 75 साल और उत्तर प्रदेश के अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण का जश्न मना रहा है। इस बाद 40,000 लोगों के लिए बैठने की व्यवस्था की जा रही है जो सामान्य से 15,000 अधिक है। कुमार ने कहा कि कर्तव्य पथ और सेंट्रल विस्टा की प्रतिकृतियां बनाई जा रही हैं। कुमार ने कहा कि नेताजी सुभाष चंद्र बोस की एक प्रतिमा का निर्माण भी किया जा रहा है। मंच को एलईडी लाइट से सजाया जाएगा और कलाकारों के लिए बिना दिक्कत के प्रवेश और निकास सुनिश्चित करने के लिए पांच प्रवेशद्वार होंगे। दशहरे के दिन रावण, कुंभकरण और मेघनाद के बड़े-बड़े पुतले जलाए जाएंगे। ये पुतले क्रमश: 100 फुट, 90 फुट और 80 फुट ऊंचे होंगे।