नई दिल्ली: दिल्ली सरकार ने रविवार को घोषणा की कि वह ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (डीसीजीआई) द्वारा टीकाकरण के पहले चरण में 500 से 600 कोविड केंद्र जल्द ही शुरू करेगी, जो सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया के 'कॉविशिल्ड' वैक्सीन और भारत बायोटेक के 'कोवैक्सिन' को आपातकाल उपयोग के लिए मंजूरी दी है। दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान यह घोषणा की कि टीका के रोलआउट के दौरान प्रोटोकॉल का पालन किया जाएगा।
मंत्री ने कहा, "पहले चरण में 500-600 कोविड केंद्र स्थापित किए जाएंगे और इसे 1,000 तक बढ़ाया जा सकता है। भंडारण की सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी, अंत में इसके लिए हम 1000 केंद्र बनाएंगे।" डीसीजीआई द्वारा वैक्सीन की मंजूरी पर जैन ने कहा, "हमें अभी-अभी अवगत कराया गया है कि भारत बायोटेक और सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया द्वारा विकसित किए गए टीकों को मंजूरी दे दी गई है।" दिल्ली में 3 लाख स्वास्थ्य कर्मचारी और 6 लाख फ्रंटलाइन वर्कर्स हैं। इन 9 लाख लोगों को टीका पहले लगाया जाएगा।
टीकाकरण के लिए पूरी तरह तैयार, बस कोविड टीके के दिल्ली पहुंचने का इंतजार: सत्येंद्र जैन
दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने रविवार को दो कोविड-19 टीकों के आपात इस्तेमाल की मंजूरी मिलने का स्वागत किया और कहा कि टीका पहुंचते ही दिल्ली सरकार टीकाकरण शुरू करने को तैयार है। जैन ने कहा कि पहले चरण में करीब तीन लाख स्वास्थ्य कर्मियों और अग्रिम मोर्चे पर काम करने वाले करीब छह लाख लोगों को टीका लगाया जाएगा।
उन्होंने कहा, ‘‘भारत के औषधि महानियंत्रक ने दो टीकों के आपात इस्तेमाल की मंजूरी दे दी है। इसे संभव बनाने के लिए दिन रात काम करने वाले वैज्ञानिकों और अनुसंधानकर्ताओं को ढेर सारी बधाई।’’
डीसीजीआई ने सीरम इंस्टिट्यूट ऑफ इंडिया द्वारा निर्मित ऑक्सफोर्ड कोविड-19 टीके ‘कोविशील्ड’ और भारत बायोटेक के स्वदेश में विकसित टीके ‘कोवैक्सीन’ के देश में सीमित आपात इस्तेमाल को रविवार को मंजूरी दे दी, जिससे व्यापक टीकाकरण अभियान का मार्ग प्रशस्त हो गया है। दिल्ली में रविवार को कोरोना वायरस के 424 नये मामले सामने आये जो सात महीने से अधिक की अवधि में सबसे कम हैं। एक दिन में 14 लोगों की संक्रमण की वजह से मौत हो गयी।