नयी दिल्ली: राष्ट्रीय राजधानी में कोरोना वायरस संक्रमण के मामलों में वृद्धि के बीच दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने मंगलवार को कहा कि सामने आ रहे नये मामलों में से करीब आधे में संक्रमण के 'स्रोत' का पता नहीं चला है। जैन ने संवाददाताओं से यह भी कहा कि जून के अंत तक कोरोना वायरस संक्रमण के मरीजों की तादाद बहुत अधिक हो सकती है और ऐसी स्थिति से निपटने के लिये केजरीवाल सरकार सभी तैयारियां कर रही हैं । यह पूछे जाने पर कि दिल्ली में जहां तक कोरोना वायरस संक्रमण का सवाल है तो क्या यह सामुदायिक स्तर पर फैल चुका है, जैन ने कहा कि इस बारे में घोषणा केंद्र सरकार को करना है ।
उन्होंने कहा, ‘'महामारी विज्ञान के अनुसार सामुदायिक संक्रमण वास्तव में संक्रमण का तीसरा चरण होता है । दिल्ली में जो नये मामले सामने आ रहे हैं उनमें करीब आधे में संक्रमण के स्रोत का पता नहीं है ।’' बाद में, उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने संवाददाताओं को बताया कि केंद्र सरकार के अधिकारियों ने कहा है कि दिल्ली में कोरोना वायरस का सामुदायिक संक्रमण अभी नहीं हुआ है ।
अधिकारियों ने कहा कि राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में सोमवार को कोरोना वायरस संक्रमण के 1007 नये मामले सामने आये, जिससे कोविड—19 संक्रमित लोगों की संख्या 29,000 को पार कर गयी। वायरस के संकमण से जान गंवाने वालों की संख्या 874 हो गयी है । तीन जून को यहां कोविड-19 के सर्वाधिक 1,513 नये मामले सामने आये थे। जब सिसोदिया से यहां के अस्पतालों को केवल दिल्लीवासियों के लिए आरक्षित कर कर देने के दिल्ली सरकार के आदेश को उपराज्यपाल अनिल बैजल द्वारा पलट दिये जाने के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा, ‘‘ रोजाना मामले इतनी तेजी से बढ़ रहे हैं और अस्पतालों में वर्तमान बेड शीघ्र ही भर जायेंगे और तब दिल्ली के लोग कहां जायेंगे।’’
जैन ने आरोप लगाया कि उपराज्यपाल ‘भाजपा के दबाव में’ आदेश पलट देते हैं। उन्होंने यह भी दावा किया कि जब देश में कोरोना वायरस के मामले सामने आने शुरू हुए थे तब दिल्ली सरकार ने केंद्र से बहुत पहले ही उड़ान सेवा बंद कर देने को कहा था लेकिन ‘15 दिन बाद वे सेवाएं बंद की गयीं।’’ स्वास्थ्य मंत्री से पूछा गया कि यदि संक्रमण सामुदायिक स्तर पर फैलता है तो क्या तैयारी होती है ? इस पर उन्होंने कहा, ‘‘ तब उपचार पर अधिक बल दिया जाता है, फिलहाल हम संक्रमण फैलने से रोकने के लिए रोगी के संपर्क में आये व्यक्तियों की पहचान करने पर जोर दे रहे हैं।’’ निजी अस्पतालों की स्थिति पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि ये अस्पताल भर चुके हैं लेकिन आने वाले सप्ताहों में दिल्ली में बड़ी संख्या में बेड की जरूरत होगी।