नई दिल्ली: देश में कोरोना वायरस का संक्रमण भले ही पहले के मुकाबले काफी कम हो गया हो लेकिन कोरोना से होने वाली मौतों का आंकड़ा लगातार बढ़ता जा रहा है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की तरफ से जारी किए गए आंकड़ों के मुताबिक पिछले 24 घंटों के दौरान देशभर में कोरोना वायरस की वजह से 264 लोगों की जान गई है और अबतक इस वायरस की वजह से हुई मौतों का आंकड़ा 1.5 लाख को पार कर गया है। इस बीच देश में जल्द ही कोरोना वैक्सीनेशन का काम शुरू होने वाला है। ऐसे में हर किसी के मन में सवाल उठ रहे हैं कि कोरोना वैक्सीन का टीका लगवाने के लिए किन जरूरी दस्तावेजों की जरूरत होगी।
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जिनके पास नहीं है एड्रेस प्रूफ, उन्हें भी टीका जाएगा लगाया
देश की राजधानी दिल्ली उन कुछ राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में से है, जहां सबसे पहले वैक्सीनेशन प्रोग्राम शुरू किया जाएगा। ऐसे में अगर कोई दिल्ली में नौकरी करता है, लेकिन रहने वाला बाहर का है तो उसे टीका कैसे लगेगी, इसका जवाब सभी जानना चाहते हैं। तो जान लीजिए जो लोग दिल्ली के रहने वाले हैं लेकिन उनके पास यहां रहने का प्रूफ नहीं है, उन्हें भी टीका लगाया जाएगा।
बस करना होगा यह काम
ऐसे लोगों को बस एक काम करना होगा। अगर कोई व्यक्ति दिल्ली में रहता है लेकिन उसका असली पता किसी और राज्य का है, तो उसे अपने दफ्तर का आधिकारिक लेटर दिखाना होगा। अधिकारी द्वारा हस्ताक्षर किया हुआ दस्तावेज़ दिखाने पर वैक्सीन सेंटर पर किसी भी व्यक्ति को टीका लगा दिया जाएगा।
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इंडियन एक्सप्रेस को डॉ. सुनीला गर्ग ने बताया कि कोई भी आईडी प्रूफ जिसपर व्यक्ति का मोबाइल नंबर और पता हो, उससे वैक्सीनेशन की प्रक्रिया पूरी हो सकती है। जो दिल्ली में रहते हैं लेकिन शहर का स्थाई पता नहीं है, उन्हें अपने ऑफिस का फोटो सर्टिफिकेट जो किसी अफसर द्वारा वेरिफाई किया गया हो, वो दिखा सकता है।
ये है दस्तावेजों की लिस्ट
दिल्ली सरकार द्वारा बनाई गई कोविड टास्क फोर्स का हिस्सा डॉ. सुनीला गर्ग के मुताबिक, इन डॉक्यूमेंट को स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा बनाई गई कोविन ऐप में अपलोड करना होगा। एम्स के निदेशक और स्वास्थ्य और परिवार कल्याण मंत्रालय की ओर से बनाई गई हाई लेवल एक्सपर्ट पैनल में शामिल डॉक्टर रणदीप गुलेरिया ने उन दस्तावेजों की लिस्ट शेयर की, जो रजिस्ट्रेशन को सत्यापित करने के लिए इस्तेमाल किया जा सकता है।
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उनके अनुसार इसमें ड्राइविंग लाइसेंस, हेल्थ इंश्योरेंस, श्रम मंत्रालय की ओर से जारी स्मार्ट कार्ड, मनरेगा गारंटी कार्ड, पैन कार्ड, बैंक या डाकघर की पासबुक, पासपोर्ट, पेंशन दस्तावेज, केंद्र या राज्य सरकार की ओर से कर्मचारियों को जारी किया गया सेवा पहचान पत्र या सार्वजनिक सीमित कार्ड, कंपनियों और वोटर आई कार्ड शामिल है।